28 दिन बाद हमले में घायल युवक का शव धरने पर लेकर बैठे ग्रामीण, मुआवजे की मांग
बूंदी। बूंदी जिले के हिंडोली थाना क्षेत्र में राजघराने के कर्मचारियों के झगड़े में घायल एक युवक की 28 दिन बाद अस्पताल में मौत हो गई. युवक की मौत के बाद आक्रोशित ग्रामीणों ने देर रात हिंडोली थाने के बाहर शव को लेकर प्रदर्शन किया. ग्रामीणों ने मृतक की पत्नी को नौकरी, 50 लाख रुपये की आर्थिक सहायता, आरोपी के खिलाफ सख्त कार्रवाई, मृतक के बच्चों को पालने-पोसने से जोड़ने की मांग की. इस दौरान भारी संख्या में पुलिस जवानों को तैनात किया गया था। ग्रामीणों का कहना था कि हिंडोली पुलिस की बजरी रायल्टी ठेकेदारों से सांठगांठ है। जब तक उनकी मांग नहीं मानी जाती तब तक शव नहीं उठाया जाएगा। प्रदर्शनकारी सुबह थाने के सामने टेंट लगाकर शव को लेकर धरने पर बैठ गए।
जानकारी के अनुसार बदनयागांव निवासी बजरी चालक हरिसिंह (38) पुत्र नत्थासिंह 16 अप्रैल को जहाजपुर से घरेलू काम के लिए बजरी ला रहा था. इस दौरान रॉयल्टी के कर्मचारियों ने उसे रोक लिया और बजरी के पैसे मांगे. रुपए नहीं देने पर 10-12 रायल्टी कर्मचारियों ने हथियार व डंडों से हमला कर दिया और ट्रैक्टर का पहिया पैर में लगा दिया। परिजनों ने उसे गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया था, जहां से उसे पूर्व में कोटा व जयपुर रेफर कर दिया गया था. हमले के 28 दिन बाद शुक्रवार को जयपुर के अस्पताल में उनकी मौत हो गई। हिंडोली पुलिस ने जयपुर के अस्पताल में पोस्टमार्टम करवाकर परिजनों को सौंप दिया। देर शाम परिजन शव को लेकर हिंडोली पहुंचे और ग्रामीणों सहित थाने के सामने शव को लेकर धरने पर बैठ गए। थानाध्यक्ष मुकेश मीणा ने बताया कि 18 मार्च को हरि सिंह के परिजनों ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी, जिसमें रायल्टी ठेकेदार के 10-12 कर्मचारियों के खिलाफ मारपीट का मामला दर्ज किया गया था. अब उसकी मौत होने पर मामले में धारा 302 जोड़कर कार्रवाई की जाएगी।