राजस्थान विधानसभा में अहम बिल पास, पेपर लीक में 10 साल जेल और 10 करोड़ तक जुर्माना

प्रदेश के लाखों युवाओं के भविष्य से जुड़ा एंटी चीटिंग बिल गुरुवार को राजस्थान विधानसभा में पास हो गया।

Update: 2022-03-24 18:46 GMT

प्रदेश के लाखों युवाओं के भविष्य से जुड़ा एंटी चीटिंग बिल गुरुवार को राजस्थान विधानसभा में पास हो गया। इस बिल में प्रतियोगी और सार्वजनिक परिक्षाओं में नकल रोकने के लिए कड़े कानूनी प्राबंधान किए गए हैं। इसके तहत पेपर लीक कराने या किसी अन्य प्रकार से नकल कराने का दोषी पाए जाने पर पांच से दस साल तक की सजा का प्रावधान किया गया है। साथ ही 10 लाख से लेकर दस करोड़ रुपये का जुर्माना भी लगाया जा सकता है।

बिल के तहत नकल कराने वाले लोगों की संपत्ति जब्त करने का प्रावधान भी किया गया है। परीक्षा के दौरान अगर कोई छात्र नकल करने या पेपर खरीदने का दोषी पाया गया तो एक लाख रुपए के जुर्माने के साथ उसे तीन साल तक की जेल भी हो सकती है।
बता दें कि प्रदेश में परीक्षाओं में नकल रोकने के लिए 1992 का कानून पहले से बना हुआ है, लेकिन इसमें दोषियों के खिलाफ कार्रवाई का कोई सख्त नियम नहीं है। लेकिन राजस्थान सार्वजनिक परीक्षा विधेयक 2022 पास होने के बाद अब ऐसा करने वालों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। सरकार ने इस नए बिल में अभी सरकारी भर्ती, बोर्ड सहित 10 तरह की परीक्षाओं को शामिल किया है।

नए एंटी चीटिंग बिल में कड़े प्रावधान
किसी भी तरह से नकल कराने या पेपर लीक का दोषी पाए जाने पर पांच से दस साल तक की सजा होगी।
नकल गिरोह में शामिल व्यक्ति पर 10 लाख से लेकर दस करोड़ तक का जुर्माना लगेगा।
नकल गिरोह के लोगों की प्रॉपर्टी जब्त कर कुर्क की जा सकेगी।
पेपर लीक और नकल कराने का अपराध गैर जमानती होगा।
परीक्षार्थी नकल गिरोह का सदस्य है तो 10 साल की सजा और 10 करोड़ तक का जुर्माना ही लगेगा।
इस तरह के मामले की जांच एडिशनल एसपी लेवल का अधिकारी ही करेगा।
परीक्षार्थी नकल करने या पेपर खरीदने का दोषी पाया गया तो तीन साल जेल और एक लाख का जुर्माना।
नकल करने का दोषी पाए जाने पर परीक्षार्थी दो साल तक कोई परीक्षा नहीं दे सकेगा।


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