भरतपुर जिले की 8 नगर पालिकाओं में सफाई कर्मचारियों के 52.29 प्रतिशत पद रिक्त है। केवल 47.70 फीसदी ही स्थाई सफाईकर्मी है। अस्थाई कर्मचारियों के भरोसे ही जिले की सफाई व्यवस्था है। इसका नतीजा यह है कि जिले में केवल नाम के लिए ही सफाई हो रही है। शहरी क्षेत्र में सफाई कि जिम्मेदारी नगर पालिका की है। इसके लिए नगर पालिका में टीम बना रखी है।
जिले की 8 नगर पालिकाओं में करीब 3,11,517 की आबादी है। इन नगर पालिका क्षेत्र में 210 वार्डों के लिए सफाई कर्मियों के पद तो 566 स्वीकृत है, लेकिन नियुक्त केवल 270 ही है। ऐसे में शहरों की सफाई व्यवस्था प्रभावित हो रही है। हालांकि सफाई व्यवस्था सुचारू रखने के लिए नगर पालिकाओं में अस्थाई सफाई कर्मचारी लगा रखे है। इनमें भी सार्वजनिक अवकाश के अलावा कभी हड़ताल तो कभी अन्य कारणों के चलते सफाई व्यवस्था ठप हो जाती है। इसका खामियाजा लोगों को भुगतना पड़ता है।