वसूली सहायक निलंबित, किसानों के 17 खातों की जांच में खुला मामला
किसानों के 17 खातों की जांच में खुला मामला
बहुउद्देशीय सहकारी समिति भानियावाला में 30 लाख रुपये से अधिक के गबन का मामला सामने आया है। शुरुआत में 16-17 खातों की ही जांच हो पाई है। इसमें किसानों की इतनी रकम गबन की गई। अभी 600 और खातों की जांच होनी है। माना जा रहा है कि गबन की यह राशि कहीं अधिक हो सकती है।
प्राथमिक जांच के बाद समिति के वसूली सहायक को निलंबित कर दिया गया है। साधन सहकारी सचिव व अन्य कर्मचारियों सहित जिला कोऑपरेटिव बैंक डोईवाला शाखा के मैनेजर और कर्मचारी भी संदेह के घेरे में हैं। बीते दिनों सचिव सहकारिता डॉ. बीवीआरसी पुरुषोत्तम ने न्याय पंचायत स्तर पर बहुद्देशीय सहकारी समितियों (एमपैक्स) का निरीक्षण किया था।
एमपैक्स, माजरी, भानियावाला में निरीक्षण के दौरान दो किसानों ने सचिव से मिलकर अपनी शिकायत दर्ज कराई थी। इसके अनुसार, उन्होंने समिति से एक लाख रुपये का ऋण लिया था, लेकिन समिति की ओर से उनकी देनदारी दो लाख रुपये बताई जा रही है।
मामले को गंभीरता से लेते हुए सचिव ने जांच के निर्देश दिए थे। जिला सहायक निबंधक, देहरादून वीरभान सिंह की अध्यक्षता में बनी एक कमेटी मामले की जांच कर रही है। सूत्रों के अनुसार कर्मचारी किसानों को ऋण देने के बाद खातों में हेरफेर करके रकम को बढ़ा देते थे।
किसानों का पैसा हड़पा गया
कर्मचारियों की मिलीभगत से किसानों का पैसा हड़पा गया है। अभी 16-17 खातों की जांच हो पाई है। बैंक से सोसायटी के खातों का मिलान किया जा रहा है। समिति के अंतर्गत छह सौ से अधिक खाते हैं। जरूरत पड़ी तो सभी खातों की जांच की जाएगी। -वीरभान सिंह, जिला सहायक निबंधक एवं जांच कमेटी के अध्यक्ष
दस्तावेज दिखाने से आनाकानी पर हुआ संदेह
बताया जा रहा है कि एडीओ सहकारिता डोईवाला ब्लॉक प्रेम कुमार ने भानियावाला समिति के कर्मचारियों से कागज दिखाने के लिए कहा था, उनके आनाकानी पर उन्हें संदेह हुआ था। सवाल यह भी उठ रहे हैं कि दिसंबर 2021 से पहले एडीओ सहकारिता डोईवाला ब्लॉक और सुपरवाइजर ने भानियावाला समिति का निरीक्षण क्यों नहीं किया? साल में दो बार खातों का आडिट होता है।
एमपैक्स, माजरी, भानियावाला में गड़बड़ी की शिकायत पर जांच जारी है। पूर्व में ही अधिकारियों को सहकारिता संवाद स्थापित कर हर पांच सहकारी समितियों से संपर्क करने को कहा है। इस तरह की शिकायतें जिन समितियों में भी सामने आएंगी, उनकी जांच कराई जाएगी। - बीवीआरसी पुरुषोत्तम, सचिव सहकारिता