Umaria उमरिया: जिले का बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में मंगलवार को चार हाथियों की मौत हो गई। बुधवार को सुबह खबर आई कि तीन और हाथियों ने दम तोड़ दिया है, फिर बुधवार रात को एक गुरुवार को सुबह एक और शाम को एक और हाथी ने दम तोड़ दिया। इस तरह से मरने वाले हाथियों की संख्या कुल 10 हो चुकी है।
कई स्तर पर जांच जारी, हाथियों के शवों का किया जा रहा परीक्षण
हाथियों की मौत के बाद राज्य से लेकर केंद्र तक हड़कंप मचा हुआ है। हर कोई सकते में है कि आखिर अचानक इतने हाथियों की मौत कैसे हो गई। ऐसा क्या हुआ जिससे एक-एक करके दस हाथियों ने दम तोड़ दिया। मौत की जांच के लिए केंद्र और राज्य की वाइल्डलाइफ एजेंसी की टीम भी बुधवार को बांधवगढ़ पहुंची है। मौत की सही वजह का पता लगाने के लिए हाथियों के शवों का परीक्षण किया जा रहा है।
मामले की पड़ताल के लिए जांच एजेंसियों ने डेरा जमाया
हाथियों के शव के परीक्षण के लिए जबलपुर पेंच और कान्हा से वेटनरी डॉक्टरों की टीम को बुलाया गया है। बुधवार शाम तक तीन हाथियों के शवों का पोस्टमार्टम हुआ था, विसरा सैंपल को जांच के लिए लैब भेजा जाएगा। हाथियों की मौत के बाद बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में जांच एजेंसियों ने डेरा जमा लिया है। पीसीसीएफ भोपाल, एसटीएसएफ प्रमुख अपनी टीम के साथ विवेचना करने पहुंचे। एआईजी एनटीसीए सेंट्रल जोन नंदकिशोर काले, वाइल्डलाइफ क्राइम कंट्रोल ब्यूरो नई दिल्ली से एक कमेटी भी जांच में जुटी है। इसके अलावा राज्य स्तरीय जांच के लिए भी एक अलग टीम बनाई गई है। हाथियों की मौत की जांच प्रधान मुख्य वन संरक्षक वन्य जीव वीएन अम्बाडे ने समिति का गठन किया है। अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक, वन्य जीव एल कृष्णमूर्ति इसके अध्यक्ष होंगे, समिति अपना जांच प्रतिवेदन 10 दिनों में देगी।
बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में हाथियों की मौत बेहद चौंकाने वाली- जय राम रमेश
हाथियों की मौत की खबर पर कांग्रेस नेता और पूर्व पर्यावरण मंत्री जय राम रमेश ने भी एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा है कि मध्य प्रदेश के बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में हाथियों की मौत बेहद चौंकाने वाली है। इससे बांधवगढ़ में एक ही झटके में हाथियों की आबादी 10% कम हो गई है। इसकी तुरंत पूरी जांच होनी चाहिए और सुरक्षात्मक उपाय किए जाने चाहिए। साथ में उन्होंने एक्स पर ही पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव को टैग भी किया है।
दिन भर जांच करती रहीं टीमें
हाथियों की मौत के बाद बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में दिन भर आपाधापी का माहौल बना रहा। केंद्र से लेकर राज्य के आला अधिकारी पहुंचते रहे। दिन भर वन विभाग की टीम सर्चिंग करती रही। सलखनिया गांव से लगे जंगल और खेतों में जांच एजेंसियों की टीम सबूत खंगालने में जुटी रही।