उज्जैन : मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के गृह जिले में जनता बिजली कटौती से परेशान है। बिजली 15 से 20 मिनट नहीं, बल्कि दो से तीन घंटे तक गायब हो रही है। इसकी सूचना के लिए जब उपभोक्ता विद्युत मंडल के 1912 नंबर पर फोन पर अपनी शिकायत दर्ज करते हैं तो महज खानापूर्ति ही होती है। अधिकारी फोन नहीं उठाते और उठा भी लेते हैं तो कोई संतोषजनक जवाब नहीं दे पा रहे हैं। सोशल मीडिया पर भी लोगों का गुस्सा फूट रहा है।
रवींद्र नगर निवासी वरिष्ठ पत्रकार निरुक्त भार्गव ने लिखा कि गर्मी के इस समय में वैसे ही दिन का तापमान 44 डिग्री और रात का तापमान 29 डिग्री चल रहा है। ऐसे में विद्युत मंडल बार-बार विद्युत कटौती कर हमारी परेशानियों को बढ़ा रहा है। बिजली की आंख-मिचोली लगातार जारी है। रवींद्र नगर क्षेत्र में कई घंटे से लाइट गायब है, जिसके लिए मैंने जिम्मेदार लोगों और हर मुमकिन लगातार फोन लगाए पर किसी की भी नींद नहीं टूटी। यह पोस्ट सोशल मीडिया पर अपलोड करने के साथ भार्गव ने उन लोगों के नंबर का स्क्रीनशॉट भी डाला है, जिन्हें उनके द्वारा इस समस्या को बताने के लिए फोन किए गए थे।
गधा पुलिया क्षेत्र में रहने वाले अभिमन्यु सिंह चंदेल ने एक पोस्ट में लिखा है कि मुख्यमंत्री के गृह क्षेत्र में अघोषित बिजली कटौती हो रही है। इससे उज्जैन दक्षिण क्षेत्र के साथ ही बाबा महाकाल के दर्शन करने आए यात्रियों को भी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। व्यास नगर क्षेत्र में रहने वाले लव मेहता भी बिजली कटौती से परेशान है। उन्होंने बताया कि महाश्वेता नगर जोन के इंचार्ज मनोज जायसवाल को कई बार फोन लगाया गया। न तो विद्युत मंडल कार्यालय पर कोई फोन उठाने को तैयार है और न ही 1912 पर कोई शिकायत दर्ज की जा रही है।
मध्य प्रदेश पश्चिम क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के अधीक्षण यंत्री पीएस चौहान ने कहा कि 1912 एप पर पिछले चार से पांच दिनों में शिकायत दर्ज करने में परेशानी आ रही है, जिसकी जानकारी मुझे है। आपके माध्यम से मुझे यह जानकारी लगी है कि अधिकारी और जिम्मेदार उपभोक्ताओं के द्वारा लगाए गए फोन नहीं उठा रहे हैं जो कि गलत बात है। आज अधिकारियों को इस बारे में हिदायत दूंगा कि जो भी हो उपभोक्ताओं के फोन जरूर उठाएं और उनकी समस्या को सुनकर उन्हें यथास्थिति से अवगत भी कराए।