पलामू और चतरा लोकसभा सीट को लेकर कांग्रेस और राजद के बीच काफी तनातनी बनी रही
पलामू और चतरा लोकसभा सीट को लेकर कांग्रेस और राजद के बीच काफी तनातनी बनी रही.
पलामू : पलामू और चतरा लोकसभा सीट को लेकर कांग्रेस और राजद के बीच काफी तनातनी बनी रही, जिसका इंतजार राजद व कांग्रेस के कार्यकर्ताओं के साथ-साथ आम आवाम भी नजरे बनाकर टिकी हुई थी कि आखिर एनडीए प्रत्याशी के सामने राजद या कांग्रेस कौन सी पार्टी के उम्मीदवार सामने होगी. राजद कार्यकर्ताओं ने बताया की पलामू और चतरा लोकसभा बरसों से राजद के खाते में ही बना हुआ रहता है लेकिन पिझले दो बार से भाजपा का कब्जा रहा है.
इस बार पलामू और चतरा लोक सभा मे अटकलें अटकी हुई थी कांग्रेस और राजद दोनों ने दावा कर रखा था. ऐसे में राजद को दोनों सीट चाहिए था लेकिन कांग्रेस एक सीट देने को तैयार थी पलामू या फिर चतरा लोकसभा, मायूसी राजद के सभी कर्यकर्ताओ के बिच बनी हुई थी.
वैसे चतरा, लोकसभा क्षेत्र राष्ट्रीय जनता दल पार्टी काफी मजबूत भी रही परंतु चतरा लोक सभा राजद के नाम नहीं हो पाई. वही, पलामू लोकसभा में पलामू के जिला अध्यक्ष मोहन विश्वकर्मा ने बड़े ही चतुराई और सूझबूझ के साथ ममता भुईया को पहले बीजेपी से अपने पार्टी में बुलाया और सीधे राजद की सुप्रीमो लालू प्रसाद जी से मुलाकात कर राजद जॉइनिंग के साथ-साथ पलामू लोकसभा सीट के उम्मीदवारी के लिए पूरा जोर लगा क़र प्रत्याशी ममता भुईया को मैदान में उतर कर दावा भी ठोक दिया. और राजद की सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव से टिकट भी दिलवा दिए आखिरकार कांग्रेस पार्टी को पलामू लोकसभा सीट छोड़ना पड़ा.
आपको बता दें कि अब देखने वाली बात होगी कि एनडीए से दो बार से जीत रहे विष्णु दयाल राम क्या इस बार राजद के प्रत्याशी ममता भुईया से हारेंगे या फिर से जीतेंगे, यह तो आने वाला वक्त ही बताया और जनता इसकी फैसला करेगी. पलामू लोक सभा सीट में कमल खिलाएगी या फिर लालटेन जलाएगी यह तो 4 जून को ही पता चल पाएगा.