झारखंड मे एक ऐसा स्‍कूल जहां 11 साल से सिर्फ एक शिक्षक, छात्रों की संख्या 200 से घटकर 77, आते हैं स‍िर्फ 12-13

शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो जी…देखिए स्कूल की हालत. लातेहार जिला मुख्यालय में एक स्कूल है, जहां पिछले 11 सालों से सिर्फ एक शिक्षक हैं.

Update: 2022-09-14 03:29 GMT

न्यूज़ क्रेडिट : divyahimachal.com

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो जी…देखिए स्कूल की हालत. लातेहार जिला मुख्यालय में एक स्कूल है, जहां पिछले 11 सालों से सिर्फ एक शिक्षक हैं. पहले दो शिक्षक थे. तब छात्रों की संख्या करीब 200 थी. अब सिर्फ 77. इनमें से भी सिर्फ 12-13 ही स्कूल आते हैं. यह अलग बात है कि स्कूल में शिक्षकों का स्वीकृत्‍त पद 11 है. लेकिन पिछले एक दशक से यहां सिर्फ एक शिक्षक का पदस्थापन है. यह स्थिति उस स्कूल की है, जिसके 250 मीटर की दूरी पर ही जिला के डीसी और जिला शिक्षक अधीक्षक का कार्यालय है. स्कूल का नाम है राजकीय बुनियादी विद्यालय, धर्मपुर.

विद्यालय में हैं मात्र 77 नामांकित बच्चे
गत शनिवार को प्रार्थना के वक्त मात्र 10-15 छात्र ही उपिस्थत थे. जब हमने विद्यालय के एक मात्र शिक्षक सह प्रधानाध्यापक बलराम उरांव से बात की तो उन्होंने बताया कि विद्यालय में मात्र 77 बच्चे नामांकित हैं. इनमें से 50-55 बच्चों की नियमित उपिस्थति होती है. यह पूछने पर कि नामांकित बच्चों की संख्या इतनी कम क्यों है, तो उन्होंने बताया कि पिछले 11 वर्षों से वे एक मात्र शिक्षक इस विद्यालय में हैं. सबों को पता है कि एक शिक्षक के रहने से विद्यालय में पठन पाठन कार्य कैसा होगा. इस कारण अधिकांश बच्चों के अभिभावकों ने अपने बच्चों का नामांकन दूसरे विद्यालयों में करा दिया है. पहले इस विद्यालय में नामांकित बच्चों की संख्या अधिक थी. लेकिन धीरे-धीरे यह संख्या कम होती चली गयी.
कई बार हुआ पत्राचार, कोई फायदा नहीं
वर्ष 2012 तक इस विद्यालय में श्री उरांव के अलावा एक और शिक्षक सुखदेव सिंह पदस्थापित थे. लेकिन उनके असामयिक निधन के बाद इस विद्यालय में दूसरे शिक्षक का पदस्थापन नहीं हो पाया. शिक्षक श्री उरांव ने बताया कि इस विद्यालय में अन्य विषयों के शिक्षकों की प्रतिनियुक्ति के लिए कई बार उच्चाधिकारियों से पत्राचार किया गया है, लेकिन अभी तक किसी अन्य शिक्षक की यहां पदस्थापन नहीं हो पायी है.
विद्यालय के कमरों पर प्रशिक्षु शिक्षकों का कब्जा
विद्यालय का दो मंजिला भवन है. ज‍िसमें कुल 9 कमरे हैं. निचले तल्ले में पांच और उपरी तल्ले पर चार कमरे. उपरी तल्ले के चारों कमरों में शिक्षक प्रशिक्षण केंद्र (टीचर ट्रेनिंग सेंटर) के शिक्षक रहते हैं. एक तरह से उनका कब्जा है. जबकि एक कमरे में शिक्षा विभाग से मिली किताबें पड़ी हुई है. एक कमरे में विद्यालय का कार्यालय है. छात्रों को पढ़ने के लिये सिर्फ तीन कमरे बचते हैं.
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