रांची और धनबाद के आधा दर्जन समेत देशभर के 830 स्कूलों ने छात्रवृत्ति हड़प ली

अल्पसंख्यक छात्रवृत्ति घोटाला

Update: 2023-08-31 04:27 GMT

धनबाद: धनबाद-रांची समेत देश के 18 राज्यों में 144.33 करोड़ रुपए के अल्पसंख्यक छात्रवृत्ति घोटाले की जांच में अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय की प्राथमिक रिपाेर्ट आ गई है। जांच के दायरे में 1572 शैक्षणिक संस्थान थे, परंतु 830 संस्थान पूरी तरह से फर्जी निकले। इनमें 6 झारखंड के हैं।

मंत्रालय की रिपाेर्ट के आधार पर मंगलवार को दिल्ली सीबीआई के एंटी करप्शन-1 ब्रांच ने मंगलवार को प्राथमिकी दर्ज की है। एफआईआर आईपीसी की धारा 120 बी, आरडब्ल्यू 420, 468, और 461 और पीसी अधिनियम 1988 की धारा 13(2), 13(1) (सी) और (डी) के तहत दर्ज की गई है। बताया जा रहा है कि जांच के बाद यह राशि बढ़ सकती है।

शिकायत में कहा गया है कि पिछले 5 वर्षों से, वर्ष 2017-22 के बीच, लगभग 65 लाख छात्रों को केंद्र सरकार से प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति, पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति और मेरिट-कम मीन्स के तहत हर साल मुस्लिम, ईसाई, सिख, जैन, बौद्ध और पारसियों के छात्रों के लिए अल्पसंख्यक छात्रवृत्ति मिलती है।

लेकिन, 830 फर्जी शैक्षणिक संस्थान ने इनकी राशि हड़प ली गई। इन शैक्षणिक संस्थानों ने नेशनल स्कॉलरशिप पोर्टल (एनएसपी) में रजिस्ट्रेशन कराकर छात्राें के फर्जी नामों की इंट्री कराई और फिर प्री-मैट्रिक, पोस्ट मैट्रिक व मेरिट-कम मिंस स्कॉलरशिप पर दावा िकया। दावे के आधार पर संबंधित छात्राें के खाते में डीबीटी मोड में राशि ट्रांसफर कर दी गई।

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