मंडी: मंडी जिला में भारी बारिश के कारण चारों तरफ तबाही ही तबाही हुई है। तीन दिन भारी बारिश के कारण मंडी जिला में 19 लोग मौत के आगोश मेें चले गए हैं। जबकि आठ लोग अभी भी लापता है। तबाही लेकर आई बारिश के चलते जिलाभर में दर्जनों मकान जमींदोज होने के कई जिंदगिंया दफन हो गई। कटौला की सेगली बंबोला में सात लोगों की मौत हुई है। वहीं हर क्षेत्र से दर्जनों पशु भी बाढ़ की चपेट में आ गए हैं। पिछले 80 घंटों से लगातार हो रही बारिश ने जिले में प्रलय जैसे हालात पैदा कर दिए। वहीं बिजली के पोल ढह गए हैं, लाइनें टूट गई हैं, मोबाइल नेटवर्क भी ध्वस्त हो गया है। ऐसे में लोग घरों में ही कैद होकर रह गए हैं। जिले में कई जगह बादल फटने से बड़ी तबाही हुई है। सांबल पंडोह में फटे बादल ने कई घर, खेत, गोशालाएं अपनी चपेट में लेकर तबाह कर दी हैं।
नगर निगम मंडी के वार्ड नंबर चार शिल्हाकीपड़ में बादल फटने से कई घरों व संपति को नुकसान हुआ है। सुंदरनगर के हराबाग में भी बादल फटा। पराशर रोड़ के बागी में बना पक्का नया पुल उपर बादल फटने से आई बाढ़ में बह गया। इलाके में घूमने गए सैंकड़ों पर्यटक इस कारण से फंस गए हैं। यहां तबाही का भयंकर मंजर बना हुआ है। कोठी गैहरी में आए ल्हासे से वीरेंद्र भारद्वाज का नया मकान जिसकी प्रतिष्ठा दो दिन पहले ही हुई थी, पूरे घरेलु सामान के साथ जमींदोज हो गया । जवाहरनगर मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का सोमवार को मंडी का कार्यक्रम था। आपदा प्रबंधन पर बड़ी बैठक संस्कृति सदन में बुलाई गई थी। खराब मौसम व भयंकर आफत के चलते मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का मंडी का दौरा रद्द हो गया।