आबकारी विभाग ने बनाई रणनीति, अब थोक में नहीं खरीद पाएंगे मोबाइल फोन-गुड़, एक दिन में सौ से ज्यादा रिचार्ज करवाए तो भी फंसेंगे

अब हिमाचल में मोबाइल फोन खरीद, रिचार्ज और थोक में गुड़ खरीदने की निगरानी होगी।

Update: 2022-10-01 03:59 GMT

न्यूज़ क्रेडिट : divyahimachal.com/

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। अब हिमाचल में मोबाइल फोन खरीद, रिचार्ज और थोक में गुड़ खरीदने की निगरानी होगी। आबकारी विभाग ने आधा दर्जन से ज्यादा वस्तुओं की सूची तैयार की है, जिनकी विधानसभा चुनाव तक थोक में खरीद नहीं हो पाएगी। इनमें सबसे बड़ा नाम मोबाइल फोन का है। आगामी दिनों में विभाग घटिया क्वालिटी के मोबाइल फोन की बड़ी खरीद पर नजर रखेगा। ये मोबाइल हिमाचल समेत पंजाब, हरियाणा और जम्मू-कश्मीर में कहीं भी खरीदे जाते हैं या तीनों राज्यों में किसी भी तरह से इनकी खेप पहुंचती है, तो इनकी जानकारी आबकारी विभाग को प्रदेश में ही मिल जाएगी। इसके बाद इन्हें कहां भेजा गया, इसकी छानबीन होगी। इसके अलावा एक ही मोबाइल से लगातार रिचार्ज होते हैं और इसकी संख्या एक दिन में सौ से अधिक रहती है, तो ऐसे घटनाक्रम की भी अब निगरानी की जाएगी। दरअसल, आबकारी विभाग ने हाल ही में पंजाब के नोडल अधिकारियों के साथ मंथन किया है। इस दौरान पंजाब में विधानसभा चुनाव के दौरान मतदाताओं को प्रभावित करने के लिए बांटे गए उपहारों पर भी चर्चा की गई। पंजाब में बड़े पैमाने पर विधानसभा चुनाव में मोबाइल फोन बांटे गए हैं और इसकी शिकायत भी चुनाव आयोग तक पहुंची।

इसके अलावा पंजाब में चुनाव लड़ रहे नेताओं ने वोट हासिल करने के लिए बड़े पैमाने पर मतदाताओं का मोबाइल भी रिचार्ज किया। डाटा महंगा होने की वजह से नेता अपने क्षेत्र में प्रभाव डालने के लिए रिचार्ज कर रहे थे। सबसे बड़ी बात उन क्षेत्रों में देखने के लिए मिली, जो हिमाचल की सीमा से बिल्कुल सटे हुए हैं। कांगड़ा जिला में पंजाब से सटे सीमावर्ती गांव में अवैध शराब का कारोबार चलता रहा है। इसके लिए थोक में गुड़ की खरीद की जाती है। जिन क्षेत्रों में शराब बनाई जाती है, उनके अलावा आसपास भी इसकी सप्लाई होती रही है। पूर्व में पंजाब विधानसभा चुनाव के दौरान नूरपुर क्षेत्र के सीमावर्ती गांवों में संयुक्त रूप से दबिश अभियान चलाया गया था। इसमें दोनों राज्यों के आबकारी विभाग और पुलिस की टीमों ने दबिश देकर भारी मात्रा में शराब बरामद की थी। अब एक बार फिर इन जगहों को संदिग्ध की श्रेणी में डाला गया है। यहां समेत पूरे प्रदेश के अन्य इलाकों में भी गुड़ की खरीद बढ़ती है,तो इस पर विभाग की पैनी नजर रहेगी।
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