फरीदाबाद। फरीदाबाद के चर्चित डिजिटल रेप के मामले में मुंह बोले मामा को 10 साल की सजा सुनाई गई है। कोर्ट ने 30 हजार का जुर्माना भी लगाया है। आठ साल की बच्ची सेक्टर 16ए में रहती है। डिजिटल रेप की घटना जुलाई 2019 की है। बच्ची आरोपी शख्स को मामा कहकर बुलाती थी। बच्ची के प्राइवेट पार्ट में दर्द हुआ। दर्द के बाद बच्ची की मां ने उससे पूछताछ की थी, जिसके बाद बच्ची ने पूरी कहानी अपनी मां को बताई थी।
आरोपी रॉबिन का घर आना जाता था। स्थानीय सूत्रों के मुताबिक बच्ची की मां प्रॉपर्टी डीलर के यहां काम करती है और पिता दूध कारोबारी है। आरोपी का घर पर आना जाता था। वह बच्ची की मां को बहन मानता है और इसी रिश्ते से बच्ची उसको मामा कहती थी। एक दिन सूना पाकर उसने बच्ची के साथ ये घिनौनी हरकत की। बच्ची को जब दर्द होने लगा तो उसकी मां ने उनसे पूछा। इसके बाद इस घटना का खुलासा हुआ था।
डिजिटल रेप मामलों में हो रही वृद्धि
डिजिटल रेप, ये शब्द सुनते सबसे पहले इसे हम साइबर क्राइम या इंटरनेट से जोड़ते हैं, लेकिन ऐसा बिल्कुल नहीं है। हाल ही में डिजिटल रेप की घटनाओं में तेजी से इजाफा हुआ है। वहीं शनिवार को ग्रेटर नोएडा वेस्ट स्थित एक प्ले स्कूल में तीन साल की मासूम के साथ डिजिटल रेप (What is Digital Rape) का मामला सामने आया है। इसके बाद से डिजिटल रेप के मसले पर बहस तेज हुई है। हालांकि, निर्भया कांड के बाद डिजिटल दुष्कर्म के मामलों में सजा को काफी सख्त किया गया है। लेकिन, इसमें डिजिटल का अर्थ इंटरनेट नहीं होता है।
क्या है डिजिटल रेप
डिजिटल रेप का मतलब यह बिल्कुल नहीं है कि यौन उत्पीड़न इंटरनेट के माध्यम से किया गया हो। डिजिटल रेप शब्द दो शब्दों को जोड़कर बना है जो डिजिट और रेप है। इंग्लिश के डिजिट का मतलब हिंदी में मतलब अंक होता है तो वहीं अंग्रेजी के शब्दकोश में डिजिट उंगुली, अंगूठा, पैर की अंगुली इन शरीर के अंगो को भी डिजिट कहा जाता है। अगर कोई शख्स महिला की बिना सहमति के उसके प्राइवेट पार्ट्स को अपनी अंगुलियों या अंगूठे से छेड़ता है तो ये डिजिटल रेप कहलाता है, यानी जो शख्स अपने डिजिट का इस्तेमाल करके यौन उत्पीड़न करे तो ये डिजिटल रेप कहा जाता है। विदेशों की तरह भारत में इसके लिए कानून बना है।