मिसेज इंडिया वर्ल्ड वाइड खिताब जीती पानीपत की आरती, बोलीं- 'पति के सपोर्ट से पूरे कर पाई सपने'
मिसेज इंडिया वर्ल्ड वाइड ने बताया कि मेरी दोस्त हमेशा ही मुझे मिस इंडिया प्रतियोगिता में जाने के लिए प्रोत्साहित करती थी.
मिसेज इंडिया वर्ल्ड वाइड ने बताया कि मेरी दोस्त हमेशा ही मुझे मिस इंडिया प्रतियोगिता में जाने के लिए प्रोत्साहित करती थी, लेकिन कभी मेरा उस ओर रुझान नहीं हुआ. आरती ने बताया कि शादी के बाद दोस्त ने फिर मुझे एक बार उत्साहित किया तो उन्होंने एक लिंक भेज कर इस प्रतियोगिता में हिस्सा लेने के लिए आग्रह किया. उन्होंने बताया कि तब मैंने उस लिंक पर जाकर प्रतियोगिता के लिए रजिस्ट्रेशन किया. आरती ने बताया कि इस प्रतियोगिता के लिए पति और सास को बताया तो उन सभी ने प्रतियोगिता में भाग लेने के लिए प्रोत्साहित किया.
आरती ने बताया कि फाइनल प्रतियोगिता में तीन राउंड हुए थे. फाइनल राउंड में प्रश्न पूछा गया की क्या महिलाएं पुरुषों से ज्यादा त्याग करती हैं. आरती जवाब देते हुए कहा था कि महिलाएं पुरुषों से ज्यादा त्याग करती हैं. क्योकि हर क्षेत्र में अपने परिवार व बच्चों के सपनों को पूरा करने के लिए अपने सपनों को भूलकर त्याग करती हैं. आरती ने बताया कि इस प्रतियोगिता में हिस्सा लेने के लिए परिवार के साथ साथ दोस्तों व सोशल मीडिया पर बहुत ज्यादा प्रोतसाहन मिला था. इन सब के साथ से इस प्रतियोगिता को जीता है.
आरती ने कहा कि मैं बड़ी भाग्यशाली हूं कि मुझे ऐसे ही ससुराल वाले मिले, जिन्होंने मेरे सपने को पूरा करने मेरा साथ दिया.आरती की सास ने कहा कि मुझे पहले से पता था मॉडल जैसी दिखती है व कुछ करेगी. उन्होंने कहा मेरी कोई बेटी नहीं है, इसे मैंने अपनी बेटी समझ कर इसका साथ दिया है. सास ने कहा कि आगे कहीं भी यह जाना चाहे मैं इसका पूरा साथ दूंगी.
आरती ने विवाहित महिलाओं को संदेश देते हुए कहा कि जो महिलाएं शादी के बाद आगे नहीं आतीं और जिन्हें परिवार की तरफ से सहयोग कम मिलता है. जिसके कारण उन्हें अपने सपनों को परिवार के सामने रखने में हिम्मत नहीं जुटा पाती हैं. उन्होंने परिवार व पुरुष समाज से अपील करते कहा कि ऐसी महिलाओं का साथ दीजिये वो बहुत अच्छा कर सकती हैं. केवल आपके एक साथ की जरूरत है.