रायपुर। विधानसभा में सोमवार को राजस्व विभाग की बजट पर चर्चा के बाद पत्रकारों के समक्ष अपनी बात रखते हुए वरिष्ठ भाजपा विधायक बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ का राजस्व विभाग पूरी तरह भू माफियाओं के कब्जे में है। विभागीय मंत्री जयसिंह अग्रवाल तो बिल्कुल निरीह मंत्री है। उनका पटवारी क्या कोटवार तक नही सुनता। बृजमोहन ने कहा कि राजस्व विभाग किसी भी राज्य का महत्वपूर्ण विभाग होता है। कलेक्टर, डिप्टी कलेक्टर, तहसीलदार, आरआई, पटवारी सब इसके ही अंतर्गत होते हैं। परंतु यहां पर विभागीय मंत्री खुद कलेक्टर के ऊपर भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हैं। ऐसी दुर्दशा राज्य की है।
छत्तीसगढ़ में राजस्व अमले की भू माफियाओं से साठगांठ के कारण बहुत से किसानों, आम लोगों की जमीनों के नामांतरण में दिक्कते हो रही है। गलत एंट्री करके लोगों की जमीनों को विवादित किया जा रहा है।। भ्रष्टाचार का इतना खुला खेल हो रहा है कि अवैध कालोनियों का निर्माण, लोगों की जमीनों का बटांकन - सीमांकन ना होना, एक ही जमीन को अलग-अलग लोगो के नाम में चढ़ा देने का खेल चल रहा है। आज पटवारी कलेक्टर से बड़ा हो गया है। पटवारियों पर सरकार का नियंत्रण खत्म हो गया है। राजस्व विभाग और भू माफियाओं के साथ सांठगांठ से हो रही गड़बड़िया रोज सामने आ रही है। यह कहना अतिशयोक्ति नहीं होगी कि छत्तीसगढ़ का राजस्व विभाग पूरी तरह से भू माफियाओं के द्वारा चलाया जा रहा है।
आदिवासियों की जमीन पर कब्जा कर रहे वर्ग विशेष के लोग....
भारत के संविधान में आदिवासियों को विशेष सुरक्षा दी गई है। उनकी जमीनों को उनके बिना परमिशन के कोई खरीद नहीं सकता। परंतु विशेष वर्ग के लोग आदिवासी बच्चियों को बहला-फुसलाकर उनसे शादी करते हैं। और उसके बाद से उनकी पूरी संपत्ति पर कब्जा कर लेते हैं। यह पूरा खेल धर्मांतरण के माध्यम से चल रहा है। उसे रोकने का काम राजस्व विभाग नहीं कर पा रहा।