रायपुर। नमक बोरी की आड़ में 20 क्विंटल गांजा की तस्करी करने वाले 4 आरोपियों को NDPS कोर्ट ने 20-20 साल की कैद के साथ दो-दो लाख रुपए जुर्माना की सजा सुनाई गई है। आपको बता दें कि इस मामलें के 4 आरोपी बांदा के रहने वाले है जो उड़ीसा के रास्ते से करोड़ों का गांजा लेकर छत्तीसगढ़ की सीमा पार करने जा ही रहे थे कि डीआरआई ने इनको गिरफ्तार कर लिया।
ये था पूरा मामला
डायरेक्ट्रेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलिजेंस (डीआरआई) ने चार राज्यों के वॉन्टेड गांजा तस्कर को उसके दो साथियों के साथ गिरफ्तार किया है। वहीं ओडीशा से करीब 20 क्विंटल गांजा लेकर बांदा आ रहे चालक को डीआरआई ने ट्रक समेत छत्तीसगढ़ के बस्तर से गिरफ्तार किया है। डीआरआई के मुताबिक बांदा निवासी बलदेव प्रसाद गुप्ता को चार राज्यों की पुलिस तलाश रही थी। बलदेव अपने नेटवर्क के जरिए यूपी के अलावा छत्तीसगढ़, ओडीशा व आंध्रप्रदेश में गांजा सप्लाई का काम कर रहा था। डायरेक्ट्रेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलिजेंस को खबर मिली कि बलदेव ने ओडीशा से गांजा की बड़ी खेप मंगाई है। 13 सितंबर को देर रात डीआरआई ने गांजा लेकर आ रहे बलदेव के चालक बुधू को छत्तीसगढ़ के बस्तर से गिरफ्तार कर लिया। बुधू आंध्रप्रदेश का रहने वाला है। बुधू यूपी के नंबर वाले ट्रक में नमक की बोरियों के नीचे गांजा छिपाकर ला रहा था। उसने पूछताछ में बलदेव के बारे में बताया। डीआरआई की टीम ने बांदा में छापा मारकर बलदेव और उसके दो साथियों शिवशंकर व चंद्रशेखर को गिरफ्तार कर लिया। बलदेव के खिलाफ आंध्र प्रदेश, ओडिशा व छत्तीसगढ़ में मामले दर्ज हैं। वहां की पुलिस को बलदेव की तलाश है। एडीजी डीआरआई ने टीम द्वारा छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित इलाके में टीम द्वारा किए गए ऑपरेशन को काफी सराहा है।