छत्तीसगढ़: इस जिले में कलेक्टर खुद कोरोना संक्रमित मरीजों को कर रहे कॉल, ले रहे ये जानकारी

जिले में कोविड मरीजों के प्रबंधन एवं उपचार के लिए जिला स्तरीय कंट्रोल रूम के माध्यम से 24*7 चौकस व्यवस्था।

Update: 2022-01-15 12:43 GMT

राजनांदगांव: कोविड-19 के नए वेरिएन्ट ओमिक्रॉन के नियंत्रण और संक्रमित मरीजों के ईलाज के लिए जिला प्रशासन एवं स्वास्थ्य विभाग की टीम अपने कर्तव्यों का निर्वहन करते हुए लगातार कार्य कर रही है। चिकित्सक, राजस्व, पंचायत, निगम अमला, मितानीन, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, फ्रंटलाईन वर्कर की संयुक्त टीम द्वारा अपने जिम्मेदारियों को निभाते हुए नागरिकों की सुरक्षा के लिए तत्पर हैं। कलेक्टर तारन प्रकाश सिन्हा कोरोना संक्रमण से निपटने और नागरिकों के घरों तक स्वास्थ्य सुविधा पहुंचाने टीम गठित कर स्वयं मॉनिटरिंग कर रहे हैं। वे स्वयं मरीजों से कॉल से बात कर फिडबैक ले रहे हैं। जिले में कोविड प्रबंधन हेतु प्रत्येक टीम के लिए अलग-अलग डिप्टी कलेक्टर को नोडल अधिकारी बनाया गया है एवं उनके साथ राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के विशेषज्ञ, कंसलटेंट को लगाया गया है। जिनके द्वारा प्रतिदिन कार्यों का रिपोर्ट लिया जा रहा है। नागरिकों की सुविधा के लिए कोविड-19 कंट्रोल रूम का गठन किया गया है। जो प्रतिदिवस 24 घंटे सेवाएं दे रही है। कोविड-19 जिला कंट्रोल रूम एवं कोविड कॉल सेन्टर के समन्वय से जिले भर के मरीजों को एक ही स्थान से सभी प्रकार की जानकारी उपलब्ध हो रही है। जिसके दूरभाष क्रमांक 74402-03333 में संपर्क कर चिकित्सकीय उपचार, सलाह तथा घर तक दवाई उपलब्धता एवं अन्य जानकारी प्राप्त की जा सकती है। समाज सेवी संस्था के सहयोग से होम आईसोलेशन में रहने वाले जरूरतमंद मरीजों को भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है। व्यवस्थाओं के मॉनिटरिंग के लिए त्रिस्तरीय व्यवस्था की गई है। कलेक्टर द्वारा नियमित रूप से विडियो कान्फ्रेसिंग के माध्यम से सभी नोडल अधिकारियों के पूरे दिन के कार्यों की समीक्षा की जा रही है एवं आवश्यक निर्देश दिए जा रहे है।

जिला प्रशासन द्वारा कोविड-19 संक्रमण की रोकथाम एवं उपचार के लिए की जा रही कार्रवाई -
कोविड-19 कंट्रोल रूम 24*7-
जिला प्रशासन द्वारा नागरिकों की सुविधा के लिए कोविड-19 जिला स्तरीय कंट्रोल रूम का गठन किया गया है। जो 24*7 घंटे सक्रिय जो अपनी सेवाएं दे रही हैं। कंट्रोल रूम के एक ही नंबर 74402-03333 पर सभी जानकारी प्राप्त हो रही है। कोविड-19 कंट्रोल रूम की क्षमता बढ़ाते हुये कॉल सेंटर के माध्यम से 10 अतिरिक्त फोन लाईन कंट्रोलरूम के नंबर से जोड़ी गयी है। जिससे फोन लोगों को व्यस्त नहीं मिले। अब एक साथ 10 नागरिक कंट्रोल रूम के नंबर से बात कर सकते हैं। जिसके लिए 10 प्रशिक्षित युवाओं को चिकित्सा सुविधाओं की जानकारी प्रदान करने के लिए कंट्रोल रूम से जोड़ा गया है। अब एक ही नंबर पर जनसामान्य को समस्त जानकारी उपलब्ध होंगी।
आरोहण बीपीओ सेन्टर के 10 युवा 24 घंटे यहां सेवा दे रहे हैं। यहां कोरोना जांच, होम आईसोलेशन के उपचार, कोविड अस्पतालाओं की जानकारी, दवाओं तथा एम्बुलेंस की जानकारी, डॉक्टरों की चिकित्सीय सलाह भी दी जा रही है।
कोविड-19 कंट्रोल रूम में मरीजों से प्राप्त कॉल पर कार्रवाई-
कोविड-19 कंट्रोल रूम में मरीजों से प्राप्त कॉल को आवश्यकता अनुसार संबंधितों को फारवर्ड किया जाता है। जिसके अंतर्गत दवाईयां, चिकित्सा सलाह, एम्बुलेंस की आवश्यकता के अनुरूप संबंधित टीम को बताया जाता है। जिस पर तत्काल कार्रवाई की जा रही है। आरोहण बीपीओ सेन्टर के माध्यम से होम क्वारेंटाईन में रहने वाले संक्रमित मरीजों से फॉलोअप कॉल किया जा रहा है और उनके स्वास्थ्य की जानकारी नियमित ली जा रही है।
फिडबैक-
कोविड संक्रमित मरीजों एवं अन्य नागरिकों से कोविड से संबंधित जानकारी के लिए कोविड-19 जिला स्तरीय कंट्रोल रूम में 500 से अधिक कॉल आई है। जिस पर तत्काल जानकारी उपलब्ध कराई गई है। अभी तक आरोहण बीपीओ सेन्टर से 900 से अधिक कोविड संक्रमित मरीजों से उनका फिडबैक लेकर स्वास्थ्य के संबंध में जरूरी सलाह दी जा रही है। जरूरत के अनुरूप चिकित्सकों की टीम से संपर्क कराया जा रहा है। कोविड कंट्रोल रूम से राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन एवं आयुष के चिकित्सकों द्वारा अब तक 3 हजार 551 बार मरीजों को कॉल कर स्वास्थ्य की जानकारी ली गई है। इसके अतिरिक्त चिकित्सकों द्वारा दिन में दो-तीन बार बात किया जा रहा है एवं स्वास्थ्य की जानकारी प्राप्त कर उन्हें आवश्यक सलाह दी जा रही है। कोविड-19 जिला कंट्रोल रूम को मरीजों से फीडबैक मिल रहा है। उनकों कोविड प्रबंधन के आवश्यक सुधार लाकर नियमित रूप से जिले के मरीजों की देखभाल की जा रही है।
कोविड-19 कंट्रोल रूम में मरीजों से प्राप्त कॉल की मानिटरिंग-
कोविड-19 कंट्रोल रूम में मरीजों से प्राप्त कॉल की मॉनिटरिंग के लिए डिप्टी कलेक्टर की ड्यूटी लगाई गई है। प्रतिदिन टीम द्वारा मरीजों को देने वाले सेवाओं की जानकारी ली जाती है।
कोविड-19 जांच-
जिले में प्रतिदिन 5 हजार से अधिक कोविड-19 जांच किया जा रहा है। इसके लिए नगर निगम राजनांदगांव में 9 स्थानों पर जांच की जा रही है। सीमावर्ती चेकपोस्ट, रेलवे स्टेशन, बस स्टैण्ड पर यात्रियों की कोविड-19 जांच पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। प्रत्येक विकासखंडों में कोविड-19 जांच के लिए स्थायी जांच सेंटर बनाए गए है।
कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग-
कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग के लिए नगर निगम राजनांदगांव के 51 वार्डों के लिए 51 सर्विलेंस टीम कार्य कर रही है। सर्विलेंस टीम द्वारा घर-घर जा कर लक्षण वाले मरीजों की पहचान की जा रही है। सर्दी, खांसी व बुखार वाले मरीजों का कोविड-19 टेस्ट किया जा रहा है। नगर निगम सर्विलेंस टीम 292 आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं मितानीन एक्टिव हैं। जिले के प्रत्येक ग्राम पंचायत के लिए कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग टीम एक्टिव है। जिसमें आंगनबाड़ी, मितानीन कार्य कर रही है। नगर निगम में अब तक 26 हजार 486 परिवारों का सर्वे किया गया है। जिसमें 812 सर्दी, खांसी व बुखार लक्षण वाले मरीज पाए गए। जिनमें से 29 कोरोना पॉजिटिव मरीज मिले।
उपचार-
एंटिजन जांच में कोविड पॉजिटिव आने पर तत्काल दवाई उपलब्ध कराई जा रही है। आरटीपीसीआर जांच में कोविड पॉजिटिव आने पर घर पहुंच दवाई उपलब्ध कराई जा रही है। इसके लिए टीम लगाई गई है। प्रत्येक ग्राम पंचायत में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और मितानिनों को 10-10 पैकेट दवाईयों का किट और निर्देश की कापी उपलब्ध कराई गई है।
कोविड संक्रमित मरीजों के लिए बेड की उपलब्धता-
कोविड संक्रमित मरीजों के उपचार के लिए जिले में लगभग 1200 बेड उपलब्ध है। इसके अलावा अस्पतालों में मरीजों के दबाव कम करने के लिए कोविड केयर सेंटर बनाए गए है। जिसमें मरीजों को रखा गया है। कोविड संक्रमित गंभीर मरीजों को तत्काल अस्पताल में भर्ती कर उपचार किया जा रहा है। निजी अस्पतालों के बेड की जानकारी के लिए टीम तैयार की गई है।
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