रायपुर। संस्कृति मंत्री अमरजीत भगत ने बुधवार को महासमुंद जिले के अंतर्गत वन चेतना केन्द्र कुहरी और इको पर्यटन कोडार जलाशय का निरीक्षण किया। उन्होंने जिला प्रशासन एवं वन विभाग द्वारा कोडार जलाशय को इको पर्यटन केन्द्र के रूप में विकसित करने की सराहना की।
मंत्री भगत ने कहा कि यहां जंगल, पहाड़, नदी, जलाशय और ऐतिहासिक एवं पुरातात्विक महत्व के अनेक दर्शनीय स्थल है। प्रदेश में लोकल टूरिज्म को बढ़ावा देने और स्थानीय लोगों को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए पर्यटन स्थल की प्रमुख भूमिका होती है। पर्यटन स्थलों पर सैकड़ो की तदाद में सैलानी प्रतिदिन पहुंचते है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार द्वारा प्रदेश में पर्यटन को बढ़ावा देने का काम लगातार कर रही है। इससे जिले में पर्यटन कारोबार को बढ़ावा मिलेगा और सैलानी यहां कि गौरवशाली विरासत और लोक संस्कृति से वाकिफ हो सकेंगे।
महासमुंद कलेक्टर निलेशकुमार क्षीरसागर ने बताया कि महासमुंद जिले के अंतर्गत सिरपुर अपने ऐतिहासिक पुरातात्विक महत्वता के कारण आकर्षण का केन्द्र है। कोडार जलाशय भी टूर सर्किट से जुड़ गया है। कोडार जलाशय नेशनल हाईवे-53 से नजदीक होने के कारण आने वाले पर्यटक यहां सुकून का एहसास करते है। कोडार जलाशय में बोटिंग की सुविधा के साथ ही कम दाम में टेंटिंग मे ठहरने का इंतजाम भी किए गए है। उन्होंने बताया कि टूरिस्ट और बच्चों के लिए क्रिकेट, वॉलीबॉल, कैरम, शतरंज के साथ ही निशानेबाजी की सुविधा भी इस इको पर्यटन केन्द्र में उपलब्ध है। पर्यटन सुविधाओं में और इजाफा किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि ऐतिहासिक नगरीय सिरपुर में भी पर्यटन को बढ़ावा देने हर सम्भव प्रयास किया जा रहा है। वहां भी सैलानियों के लिए रायकेरा तालाब में बोटिंग की सुविधा शुरू हो गई है। इस अवसर पर स्थानीय जनप्रतिनिधि सहित अधिकारी गण उपस्थित थे।