3 सेक्रेसी पर्सनल पर बिहार थाने में हुई प्राथमिकी

Update: 2023-06-17 10:28 GMT

नालंदा न्यूज़: फरवरी 2023 में हुई मैट्रिक परीक्षा की उत्तरपुस्तिकाओं पर बारकोडिंग चस्पा करने में गड़बड़ी करने के मामले ने तूल पकड़ लिया है. इसमें दोषी पाये गये तीन सेक्रेसी पर्सनल के साथ ही दो छात्राओं के विरुद्ध एफआईआर कराने का आदेश दिया गया था. लेकिन, शिक्षा विभाग की शिथिलता की वजह से दोषी करार दी गयीं दो छात्राओं पर अब तक एफआईआर नहीं करायी गयी है. मामले को गंभीरता से लेते हुए बिहार विद्यालय परीक्षा समिति (बीएसईबी) के सचिव ने डीएम को पत्र भेजा है. कहा है कि शीघ्र उन छात्राओं के विरुद्ध प्राथमिकियां करायी जाएं. साथ ही, मामले में उनकी भूमिका, संलिप्तता अथवा षडयंत्र की गहन जांच करायी जाये. सेक्रेसी पर्सनल धीरज कुमार के विरुद्ध लघु सिंचाई प्रमंडल के कनीय अभियंता विनोद कुमार तो ललन कुमार व अभिषेक कुमार के खिलाफ बाल संरक्षण पदाधिकारी सह सेक्रेसी सुपरवाइजर नीतेश कुमार को बिहार थाने में एफआईआर कराने की जिम्मेवारी दी गयी है. उन अधिकारियों ने एलआईआर करा दी है. डीईओ केशव प्रसाद ने बताया कि दोनों छात्राओं के खिलाफ संबंधित एचएम को स्थानीय थानों में प्राथमिकियां दर्ज कराने का आदेश दिया गया था.

कैसे की गड़बड़ी

बारकोडिंग के दो हिस्सों फ्लाइंग स्लिप व अवार्ड शीट को कॉपी व उससे संबंधित दस्तावेज पर चस्पा करने के दौरान हेरा-फेरी की गयी थी. बीएसईबी द्वारा गड़बड़ी पकड़ में आने पर डीएम ने तीन सदस्यीय टीम से मामले की जांच करायी थी. टीम के नेतृत्वकर्ता जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी शैलेन्द्र चौधरी ने स्पष्ट रूप से कहा कि आरोपितों ने रिश्तेदारों को अधिक अंक दिलाने की मंशा से गड़बड़ी की थी. बारकोडिंग चस्पा करने के लिए रखे गये स्थानीय युवाओं को सेक्रेसी पर्सनल कहा जाता है. उन्हें प्रति कॉपी दो रुपये की दर से मेहनताना देने का प्रावधान है.

बारकोडिंग चस्पा करने जैसे गोपनीय कार्य में गड़बड़ी करना अपराध है. सभी दोषियों पर कार्रवाई होगी. आखिर, किस सूरत में दोनों छात्राओं पर काररवाई नहीं की गयी है, इसकी जांच करायी जाएगी. साथ ही, बचाने में जुटे लोग भी जांच के दायरे में आएंगे.

-केशव प्रसाद, जिला शिक्षा पदाधिकारी

दो छात्राओं को पहुंचाया गया लाभ

आदर्श हाईस्कूल मुफ्तीगंज-सैदपुर की छात्रा को बारकोडिंग चस्पा करने में हेरा-फेरी कर अंग्रेजी में दो के बदले 29, विज्ञान में सात की जगह 15 तो गणित में 14 के स्थान पर 25 अंक दिये गये थे. इसी तरह, हाईस्कूल बेलदारबिगहा की छात्रा को हिन्दी में 19 की जगह 38, सामाजिक विज्ञान में 12 की जगह 28 तो विज्ञान में पांच की जगह 28 अंक मिला था.

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