पैदल होने से बची एंटी लीकर टास्क फोर्स की टीम

Update: 2023-01-16 07:45 GMT

भागलपुर न्यूज़: शराब को लेकर छापेमारी, गिरफ्तारी और बरामदगी के लिए भागलपुर सहित सभी जिलों में बनाई गई एंटी लीकर टास्क फोर्स (एएलटीएफ) पैदल होने से बच गई है. दरअसल, भाड़े पर लिए गए चार पहिया वाहनों की अवधि खत्म होने वाली थी.

ये वही चार पहिया वाहन हैं, जो विभिन्न जिलों में एएलटीएफ की टीम इस्तेमाल कर रही थी. वैसे 328 वाहन हैं. अवधि खत्म होने से पहले ही इसका विस्तार फरवरी तक कर दिया गया है. इसको लेकर एडीजी (प्रोविजनिंग) ने भागलपुर सहित सभी जिलों को जानकारी दी है. मुख्यालय ने यह भी बताया है कि भाड़े पर लिए गए सभी वाहन एएलटीएफ की टीम इस्तेमाल कर रही थी. भाड़े पर लिए गए वाहनों की जरूरत को देखते हुए उसका अवधि विस्तार किया गया है. जिलों के एसपी को भाड़े पर वाहन लेने का निर्देश दिया गया था. वैसे तो वाहनों का इस्तेमाल एएलटीएफ की टीम को करने के लिए दिया गया है पर उसका इस्तेमाल अन्य मौकों पर भी किया जाता है. जब एएलटीएफ की टीम को कहीं जाना नहीं हो तो वैसी परिस्थिति में उस वाहन को लॉ एंड ऑर्डर, बालू को लेकर छापेमारी आदि में भी भेजा जाता है.

भागलपुर में नौ वाहन, सर्वाधिक मुजफ्फरपुर के 24

भागलपुर एएलटीएफ की टीम के पास नौ वाहन हैं, जबकि सर्वाधिक वाहन मुजफ्फरपुर जिले में हैं जिनकी संख्या 24 है. सुपौल में वाहनों की संख्या 10 है. सहरसा में छह, मधेपुरा में एक, बांका में आठ, नवगछिया में दो, मुंगेर में आठ, जमुई में 10, लखीसराय में चार, बेगूसराय में 12, खगड़िया में 10, मधुबनी में 12, दरभंगा में आठ, समस्तीपुर में 20, अररिया में चार, नालंदा में चार, गया में 16, नवादा में 10, औरंगाबाद में 10, अरवल में दो, भोजपुर में 16, कैमूर में 14, बक्सर में 10, सीतामढ़ी में 12, वैशाली में 12, शिवहर में दो, सारण में 12, सिवान में आठ, गोपालगंज में पांच, बेतिया में आठ, मोतिहारी में 14, बगहा पुलिस जिले में भाड़े पर लिए गए वाहनों की संख्या छह है.

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