क्या झारखंड की स्वर्णरेखा नदी में बहता है सोना? जानें
बहता है सोना? जानें
भारत की नदियां घर-घर तक पानी पहुंचाने में मदद करती हैं। एक नदी की कल्पना करके आपकी आखों के आगे क्या आता है? पेड़, पानी, हरियाली और रेत। लेकिन अगर आपको पता चले की भारत में एक ऐसी नदी भी है, जिसमें सोना बहता है तो। दरअसल झारखंड की स्वर्णरेखा नदी को गोल्डन रिवर नाम से जाना जाता है। आइए जानते हैं क्यों और इसके पीछे का राज।
कौन सी नदी है जहां सोना बहता है?
भारत के झारखंड राज्य में बहने वाली स्वर्णरेखा नदी किसी रहस्य से कम नहीं है। इस नदी पर अलग-अलग शोध भी हो चुके हैं। यह नदी रांची से 16 किलोमीटर दूर छोटा नागपुर के पठार में से निकलती है और बंगाल की खाड़ी में मिलती है। इस नदी की लंबाई 474 किमी है। कहा जाता है इस नदी की रेत को छानने पर लोगों को सोना मिलता है। यही कारण है कि बहुत से लोगों के लिए यह नदी गुजारे का जरिया भी है।
क्या स्वर्णरेखा नदी में सोना है?
स्वर्णरेखा नदी एक रहस्य है, जो आज तक असुलझा है। कुछ भूवैज्ञानिकों का कहना है कि नदी में सोना नहीं चट्टानों के साथ आने वाली चीजें हैं, जिन्हें लोग सोना समझते हैं। अभी तक इस नदी से जुड़ा कोई सबूत सामने नहीं आया है।
स्वर्णरेखा नदी की खासियत
स्वर्णरेखा नदी पूर्व की ओर बहने वाली सबसे लंबी अंतरराज्यीय नदियों में से एक है। स्वर्णरेखा नदी की प्रमुख सहायक नदियां खरकई, रोरो, कांची, हरमू नदी, दमरा, कर्रू, चिंगुरु, करकारी, गुरमा, गर्रा, सिंगडुबा, कोडिया, डुलुंगा और खैजोरी हैं।
भारत की कुछ प्रमुख नदियां
भारत की मुख्य नदियों में गंगा, यमुना, सिंधु, गोमती, महानदी, नर्मदा, झेलम, कृष्णा, कावेरी, गोदावरी, सरयू और ब्रह्मपुत्र नदी का नाम शामिल हैं। इन नदियों से ढेर सारी सहायक नदिया भी निकलती हैं।
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