ये चार लक्षणों को न करें नजरअंदाज, प्रजनन संबंधी समस्याओं के हो सकते हैं संकेत

जीवनशैली और आहार में पौष्टिकता की कमी सेहत के लिए कई तरह से नुकसानदायक साबित हो सकती है।

Update: 2021-08-14 11:33 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। जीवनशैली और आहार में पौष्टिकता की कमी सेहत के लिए कई तरह से नुकसानदायक साबित हो सकती है। प्रजनन संबंधी दिक्कतें भी ऐसी ही एक समस्या है। यह महिला और पुरुष दोनों को हो सकती है। आंकड़ों के मुताबिक दुनियाभर में लाखों युगल इस गंभीर समस्या के शिकार हैं। एक अनुमान के मुताबिक 10 से 18 प्रतिशत जोड़ों को प्रजनन संबंधी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। महिलाओं में बांझपन को ऐसे समझा जा सकता है- यौन संबंधों के बाद भी स्वाभाविक रूप से गर्भ धारण करने में असमर्थता की समस्या होना। इस लेख में हम महिलाओं में बांझपन की समस्या के बारे में जानेंगे।

स्वास्थ्य विशेषज्ञों के मुताबिक महिलाओं में बांझपन की समस्या कई कारणों जैसे ओव्यूलेशन विकार, फैलोपियन ट्यूब में क्षति, एंडोमेट्रियोसिस, गर्भाशय या गर्भाशय ग्रीवा संबंधी दिक्कतों के कारण हो सकती है। इन समस्याओं का निदान जितनी जल्दी कर लिया जाए, रोग का उपचार उतना ही आसान होता है। अक्सर लोग समय पर इसका निदान नहीं कर पाते हैं जिसके कारण समस्या गंभीर रूप ले लेती है। आइए आगे की स्लाइडों में ऐसे लक्षणों के बारे में जानते हैं जो महिलाओं में प्रजनन विकार का संकेत हो सकती हैं। इन लक्षणों के दिखते ही डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।

पीरियड्स का लंबे समय तक रहना और ज्यादा दर्द होना

कुछ महिलाओं को मासिक धर्म हल्के जबकि कुछ को लंबे समय तक और तेज दर्द के साथ हो सकता है। एंडोमेट्रियोसिस, एक ऐसी बीमारी जिसमें सामान्य रूप से गर्भ में स्थित ऊतक शरीर में कहीं और पाए जाते हैं। ऐसी महिलाओं को मासिक धर्म के दौरान अधिक दर्दनाक हो सकता है। इसके अलावा मासिक धर्म चक्र में अगर बार-बार अनियमितता है तो इस बारे में डॉक्टर से संपर्क करें। यह प्रजनन विकारों की तरफ इंगित करता है।

संभोग के दौरान असामान्य दर्द होना

सेक्स के दौरान असामान्य रूप से दर्द होना भी महिला की प्रजनन क्षमता को प्रभावित कर सकता है। यह दर्द संक्रमण, एंडोमेट्रियोसिस और फाइब्रॉएड जैसी समस्याओं के कारण हो सकता है, जो प्रजनन क्षमता को प्रभावित कर सकता है। ऐसे में इस तरह के लक्षण दिखते ही तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। 

मासिक धर्म के रक्त के रंग में बदलाव

मासिक धर्म की शुरुआत में रक्त आमतौर पर चमकदार लाल रंग का होता है और अगले कुछ दिनों में काला हो सकता है। यदि आपके मासिक धर्म का रक्त सामान्य से लगातार हल्का है या शुरुआती दिनों में ही बहुत गहरे रंग का है, तो यह असामान्य संकेत है। इस बारे में भी डॉक्टर से संपर्क करके राय ले लें। मासिक धर्म में किसी भी प्रकार की असामान्यता प्रजनन स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं की ओर इशारा हो सकती है, इसे नजरअंदाज नहीं करना चाहिए।

स्वास्थ्य संबंधी अन्य स्थितियां

स्वास्थ्य विशेषज्ञों के मुताबिक मोटापे से ग्रस्त महिलाओं को गर्भधारण करने में दूसरों की तुलना में दिक्कत अधिक हो सकती है। इसके अलावा पीसीओएस, समय से पहले रजोनिवृत्ति, कैंसर, कैंसर के उपचार, अंडाशय या फैलोपियन ट्यूब को क्षति, एंडोमेट्रियोसिस जैसी चिकित्सीय स्थितियां भी प्रजनन को प्रभावित कर सकती हैं। इन स्थितियों में डॉक्टर से सलाह जरूर ले लेना चाहिए।

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नोट: यह लेख महिला रोग विशेषज्ञ डॉ अनामिका सक्सेना के सुझावों के आधार  पर तैयार किया गया है।

अस्वीकरण: अमर उजाला की हेल्थ एवं फिटनेस कैटेगरी में प्रकाशित सभी लेख डॉक्टर, विशेषज्ञों व अकादमिक संस्थानों से बातचीत के आधार पर तैयार किए जाते हैं। लेख में उल्लेखित तथ्यों व सूचनाओं को अमर उजाला के पेशेवर पत्रकारों द्वारा जांचा व परखा गया है। इस लेख को तैयार करते समय सभी तरह के निर्देशों का पालन किया गया है। संबंधित लेख पाठक की जानकारी व जागरूकता बढ़ाने के लिए तैयार किया गया है। अमर उजाला लेख में प्रदत्त जानकारी व सूचना को लेकर किसी तरह का दावा नहीं करता है और न ही जिम्मेदारी लेता है। उपरोक्त लेख में उल्लेखित संबंधित बीमारी के बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श लें।

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