आप भी बालों में कराने जा रही हैं स्मूथनिंग या रिबॉन्डिंग? इन बातों को ज़रूर जान लें
अलग साइड इफेक्ट्स होते हैं. चलिए जानते हैं कि स्मूथनिंग और रिबॉन्डिंग में आखिर फर्क क्या है?
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। महिलाएं जिनके बाल कर्ली या फिर वेवी होते हैं. वह अपने बालों को स्ट्रेटनर से स्ट्रेट कर एक नया लुक देना हमेशा पसंद करती हैं. लेकिन जिन महिलाओं को स्ट्रेट हेयर बेहद पसंद होते हैं उनके लिए बार-बार स्ट्रेटनर का इस्तेमाल करना झंझट वाला काम हो जाता है. इसी तरीके को अपनाने से ना केवल उनके काफी सारा समय बर्बाद होता है. साथ ही साथ उनके बाल भी डैमेज हो जाते हैं, जो महिलाएं चाहती हैं कि उनके बाल लंबे समय तक स्ट्रैट हों ऐसे में या तो वह रिबॉन्डिंग का ऑप्शन चुनती हैं या फिर स्मूथनिंग का. लेकिन आमतौर पर महिलाएं दोनों हेयर ट्रीटमेंट को एक ही मानती है. जबकि वास्तव बात यह है कि यह दोनों ट्रीटमेंट अलग-अलग है. इनके अलग प्रभाव होते हैं. अलग साइड इफेक्ट्स होते हैं. चलिए जानते हैं कि स्मूथनिंग और रिबॉन्डिंग में आखिर फर्क क्या है?