कुतुब मीनार परिसर में पूजा के अधिकार की मांग, याचिका पर कोर्ट में सुनवाई आज

दिल्ली का साकेत कोर्ट मंगलवार यानि 24 मई को महरौली स्थित कुतुब मीनार परिसर के अंदर हिंदू और जैन देवी-देवताओं की बहाली और पूजा के अधिकार की मांग वाली याचिका पर सुनवाई करेगा.

Update: 2022-05-24 01:46 GMT
Demand for right to worship in Qutub Minar complex, hearing on petition in court today

फाइल फोटो 

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जनता से रिश्ता वेबडेस्क। दिल्ली का साकेत कोर्ट (Delhi Saket Court) मंगलवार यानि 24 मई को महरौली स्थित कुतुब मीनार परिसर के अंदर हिंदू और जैन देवी-देवताओं की बहाली और पूजा के अधिकार की मांग वाली याचिका पर सुनवाई करेगा. पूजा के अधिकार के मामले में ये याचिकाएं वकील हरि शंकर जैन और वकील रंजना अग्निहोत्री ने दायर की है. कोर्ट में दायर याचिकाओं में दावा किया गया है कि कुतुब मीनार (Qutub Minar) परिसर में हिंदू देवी देवताओं की कई मूर्तियां मौजूद है. याचिकाकर्ता का दावा है कि भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण द्वारा प्रदर्शित एक संक्षिपत इतिहास बताता है कि मोहम्मद गौरी की सेना के कमांडर कुतुबदीन ऐबक ने 27 मंदिरों को तोड़ दिया था. और कुव्वत-उल-इस्लाम को परिसर के अंदर खड़ा कर दिया था.

इसी के ही साथ मुकदमे में ये भी दावा किया गया है कि कुतुब मीनार परिसर में ऐसे कई स्थान है जहां पर कलश, स्वास्तिक और कमल जैसे कई प्रतीक नजर आते हैं, जो इस इमारत के हिंदू अस्तित्व को साबित करते हैं. कोर्ट में दायर याचिका में कहा गया है कि मौजूदा कुतुब मीनार परिसर में भगवान विष्णु और भगवान ऋषभ देव, भगवान शिव, भगवान गणेश, भगवान सूर्य, और देवी गौरी और जैन तीर्थंकरों के अलावा नक्षत्रों के साथ विशाल और ऊंचे हिंदू और जैन मंदिर मौजूद थे. याचिका में इसके साथ ही ये भी कहा गया है मेरु टॉवर को ही अब कुतुब मीनार कहा जाता है.
मंदिर के मलवे का प्रयोग कर ही बनाई गई मस्जिद
याचिकाकर्ताओं ने कोर्ट में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग का हवाला देते हुए कहा है कि कुतुब मीनार परिसर के अंदर ऐसे कई साक्ष्य मौजूद हैं जो इस बात को तय करती है कि वहां पर 27 हिंदू और जैन मंदिरों को ध्वस्त कर दिया गया था और मंदिरों को तोड़ने के बाद जो मलवा था उसी का दुबारा प्रयोग कर परिसर के अंदर कुव्वत-उल-इस्लाम मस्जिद खड़ी की गई थी.
याचिका में मांग की गई है कि भगवान विष्णु, भगवान शिव, भगवान गणेश, भगवान सूर्य, देवी गौरी, भगवान हनुमान, और जैन देवता तीर्थंकर भगवान ऋषभ देव को मस्जिद स्थल पर मंदिर परिसर के भीतर पुनर्स्थापित होने का अधिकार दिया जाए.
गणेश जी मूर्तियों को हटाने से रोका गया
कोर्ट ने इससे पहले याचिका पर सुनवाई के दौरान एएसआई को निर्देश दिया था कि वो अगले निर्देश तक कुतुब मीनार से भगवान गणेश की दो मूर्तियों को नहीं हटाएं. इसी के ही साथ एएसआई को नोटिस जारी कर इस याचिका पर जवाब देने को कहा था.
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