दिल्ली परिवहन विभाग ने जारी किया आदेश, अब राजधानी में लिथियम आयन बैट्री के ई-रिक्शा ही चलेंगे

दिल्ली में अब उन्हीं कंपनी और फर्म को ई-रिक्शा बेचने की इजाजत होगी, जिनके ई-रिक्शा लिथियम आयन बैट्री से चलते हैं।

Update: 2022-05-09 05:34 GMT

फाइल फोटो 

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। दिल्ली में अब उन्हीं कंपनी और फर्म को ई-रिक्शा बेचने की इजाजत होगी, जिनके ई-रिक्शा लिथियम आयन बैट्री से चलते हैं। इसे लेकर परिवहन विभाग की ओर से आदेश जारी किया गया है।

आदेश में स्पष्ट किया गया है कि लिथियम आयन बैट्री से तैयार ई-रिक्शा बेचने की ही अनुमति होगी। साथ ही दिल्ली परिवहन विभाग की ओर से जारी वैध ड्राइविंग लाइसेंस खरीदार के नाम पर होने पर ही उसे ई-रिक्शा बेचा जाएगा।
दरअसल, लिथियम बैट्री को सुरक्षित माना जाता है। अगर कोई हादसा होता है तो उससे बैट्री से किसी तरह का नुकसान होने का खतरा नहीं रहता है, जबकि दूसरे तरह की बैट्री हादसे के वक्त फट सकती है, जिससे अंदर भरा तेजाब नुकसान पहुंचा सकता है। हालांकि, लिथियम बैट्री की कीमत लेड एसिड सेल बैट्री की तुलना में तीन से चार गुना होती है।
बिन लाइसेंस ऑटो पर भी कार्रवाई : सरकार उन ऑटो चालकों पर भी कार्रवाई कर रही है, जो बिना लाइसेंस के ऑटो चला रहे हैं। बीते दिनों से इनके खिलाफ कार्रवाई चल रही है। ऐसे अवैध ऑटो जब्त किए जा रहे हैं। साथ ही सरकार ने व्यवस्था की है कि कंपनी और एजेंसी उसी सूरत में ई-रिक्शा को बेचेगी जब रिक्शा चालक के पास परिवहन विभाग की तरफ से जारी वैध ड्राइविंग लाइसेंस होगा।
सुरक्षा के लिए उठाया गया कदम
● दिल्ली सरकार ने ई-रिक्शा पर यात्रा करने वालों की सुरक्षा को ध्यान में रखकर यह अहम फैसला लिया है।
● लेड एसिड वाली एक बैटरी नौ से 10 हजार रुपये में आ जाती है, जबकि लिथियम की बैट्री की कीमत अधिक है।
● लिथियम की बैटरी 30 हजार रुपये के आसपास से शुरू होती है। यह 40-50 हजार रुपये तक जाती है।
● दुर्घटना होने की स्थिति में तेजाब भरी बैट्री फट सकती है, जिससे अधिक नुकसान पहुुंचने की आशंका रहती है।
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