दिल्ली: दिल्ली परिवहन निगम राजधानी की सड़कों पर 2130 इलेक्ट्रिक बसें उतारेगी
दिल्ली ट्रांसपोर्ट न्यूज़ स्पेशल: दिल्ली की सड़कों पर अगले कुछ महीने में 2130 इलेक्ट्रिक बसों को उतारने की तैयारी की जा रही है। डीटीसी में आने वाली 300 ई-बसों के अलावा 330 ई-बसों को क्लस्टर में लाने के लिए अप्रैल तक टेंडर आवंटित हो जाएगा। इसी के साथ 1500 और ई-बसों को लाने की कोशिशें तेज हो गई हैं। दिल्ली सरकार ने 2022-23 के बजट में इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने पर जोर दिया है। इससे दिल्ली में प्रदूषण को कम करने में मदद मिलेगी।
दिल्ली परिवहन निगम (डीटीसी) बोर्ड ने राष्ट्रीय राजधानी में स्वच्छ सार्वजनिक परिवहन प्रणाली का मार्ग प्रशस्त करते हुए कन्वर्जेंस एनर्जी सर्विसेज लिमिटेड (सीईएसएल) की एक पहल के तहत 1500 इलेक्ट्रिक बसें सड़कों पर उतारने की मंजूरी दे दी है। दिल्ली सरकार के अधिकारियों ने बताया कि बोर्ड ने पिछले सप्ताह अपनी बैठक में डीटीसी अध्यक्ष को इस मामले में आगे की आवश्यक कार्रवाई के लिए अधिकृत किया है। सीईएसएल ने अपनी ग्रैंड चैलेंज योजना के माध्यम से पहले चरण में पांच महानगरों बेंगलुरु, दिल्ली, सूरत, हैदराबाद और कोलकाता में 5,450 सिंगल डेकर और 130 डबल डेकर बसों को लाना प्रस्तावित किया है। डीटीसी बोर्ड ने 1500 एसी लो फ्लोर इलेक्ट्रिक बसों में से 921 बसों को फेम-दो योजना के तहत और 579 बसों को गैर फेम-दो श्रेणी के तहत शामिल करने की मंजूरी दी है। बोर्ड ने डीटीसी के प्रबंध निदेशक को गैर-फेम द्वितीय श्रेणी के तहत 579 बसों के लिए सब्सिडी के रूप में 318.45 करोड़ रुपए की राशि को बसों के लिए बिजली के बुनियादी ढांचे की स्थापना के लिए मंजूरी दी है। अधिकारियों ने बताया कि इन इलेक्ट्रिक बसों की पार्किंग संचालन और रखरखाव के लिए बोर्ड ने डीटीसी के 12 डिपो को मंजूरी दी है।
बता दें कि सीईएसएल भारी उद्योग मंत्रालय की फेम (फास्टर एडाप्शन एंड मैन्युफैक्चरिंग ऑफ हाइब्रिड एंड ईवी) दो योजना के तहत एनर्जी एफिशिएंसी सर्विसेज लिमिटेड (ईईएसएल) की पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक कंपनी है। सीईएसएल ने जनवरी 2022 में 5,500 करोड़ रुपए की अब तक की सबसे बड़ी निविदा शुरू की, जिसमें 130 डबल डेकर सहित 5,580 इलेक्ट्रिक बसें शामिल हैं। केजरीवाल सरकार शहर की सभी बसों को 100 प्रतिशत ई-बसों में बदलने के लिए प्रतिबद्ध है और डीटीसी जल्द ही सीईएसएल की ग्रैंड चैलेंज योजना के तहत 1500 ई-बसों को तैनात करेगी। इसके तहत जुलाई तक ई-बसों की पहली खेप सड़कों पर आने की उम्मीद है। डीटीसी बोर्ड ने अपनी बैठक में फेम-दो योजना के तहत 3 से 27 मार्च तक आपूर्ति की जाने वाली 198 इलेक्ट्रिक बसों की स्वीकृति और संचालन के लिए इको लाइफ कंपनी के अनुरोध को भी मंजूरी दे दी है।
इलेक्ट्रिक बसों की खासियतें"
अत्याधुनिक इलेक्ट्रिक बस शून्य टेलपाइप उत्सर्जन के साथ ही 100 फीसद इलेक्ट्रिक हैं।
बसों में विकलांग यात्रियों के लिए घुटनों के बल चलने वाले रैंप और महिला यात्रियों के लिए विशेष गुलाबी सीटें हैं।
बसें सीसीटीवी कैमरों से लैस हैं जो कश्मीरी गेट पर एक टूवे सेंट्रल कमांड एंड कंट्रोल सेंटर (सीसीसी) से जुड़ी हैं।
प्रत्येक बस में 10 पैनिक बटन और एक हूटर है।