नयी दिल्ली : सरकार ने वर्ष 2023-24 के लिए खरीफ फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य की बुधवार को घोषणा की जिसके तहत धान सामान्य और धान ग्रेड ए की कीमतों में 143 रुपये प्रति क्विंटल की वृद्धि की है जबकि मूंग के कीमतों में 803 रुपये, अरहर की कीमतों में 400 रुपये और उड़द की कीमतों में 350 रुपये प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी की गयी है। मूंगफली की कीमतों में 527 रुपये प्रति क्विंटल तथा मक्का की कीमताें 128 रुपये प्रति क्विंटल की वृद्धि की गयी है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र माेदी की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति की हुई बैठक में कृषि मंत्रालय के
खरीफ फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्यों में वृद्धि के प्रस्ताव को मंजूरी दी गयी। धान सामान्य का न्यूनतम समर्थन मूल्य में 2022-23 में 2040 रुपये प्रति क्विंटल था जिसे बढ़ाकर 2183 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। धान ग्रेड ए का न्यूनतम समर्थन मूल्य 2060 प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 2203 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। मक्का की कीमत गत वर्ष 1962 रुपये प्रति क्विंटल था, जिसे बढ़ाकर 2090 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है।
खाद्य आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्री पीयूष गोयल ने संवाददाता सम्मेलन में मंत्रिमंडल के निर्णय की जानकारी देेते कहा कि हुए वर्ष 2022-23 में मूंग का न्यूनतम समर्थन मूल्य 7755 रुपये प्रति क्विंटल था जिसे बढ़ाकर 8558 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। अरहर दाल की कीमत गत वर्ष 6600 रुपये प्रति क्विंटल था, जिसे बढ़ाकर 7000 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। उड़द की कीमत 6600 रुपये प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 6950 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है और मूंगफली का न्यूनतम समर्थन मूल्य 5850 रुपये प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 6377 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है।
श्री गोयल ने बताया कि सूरजमुखी का गत वर्ष समर्थन मूल्य 6400 रुपये प्रति क्विंटल था जिसे बढ़ाकर 6760 प्रति क्विंटल कर दिया गया है। इसी तरह से सोयाबीन पीली का न्यूनतम समर्थन मूल्य 4300 रुपये प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 4600 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है।
ज्वार हाईब्रिड का न्यूनतम समर्थन मूल्य 2970 रुपये से बढ़ाकर 3180 रुपये प्रति क्विंटल और ज्वार मालदंडी की कीमत 2990 रुपये से बढ़ाकर 3225 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। बाजरा की कीमत 2350 रुपये से बढ़ाकर 2500 रुपये और रागी कीमत 3578 रुपये से बढ़ाकर 3846 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। तिल की कीमत 7830 रुपये प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 8635 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। रामतिल की कीमत 7287 रुपये से बढ़ाकर 7734 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है।
कपास मध्यम की कीमत 6080 रुपये से बढ़ाकर 6620 रुपये जबकि कपास लंबी की कीमत 6380 रुपये से बढ़ाकर 7020 रुपये कर दी गयी है।
श्री गोयल ने कहा कि सरकार के इन प्रयासों से किसानों को लाभकारी मूल्य मिल सकेंगे। उन्होंने कहा कि दलहन की कीमतों में लगभग 25 प्रतिशत और तिलहन की कीमतों में 30 प्रतिशत की वृद्धि की गयी है।
उन्होंने एक प्रश्न के उत्तर में कहा कि श्री मोदी ने पिछले नौ वर्षों के दौरान महंगाई की कीमतों में नियंत्रण के लिए हर संभव प्रयास किया है और यह नियंत्रित है जबकि दुनिया के कई देशों में यह दर 30 से 40 फीसदी तक हो गयी थी। उन्होंने कहा कि कुछ समय के लिए महंगाई दर 6.5 प्रतिशत से सात प्रतिशत के बीच हो गयी थी जो अब लगभग साढ़े चार फीसदी पर आ गयी है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2013-14 की तुलना में खाद्यान्न फसलों की न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीद में भारी वृद्धि हुई है।