रायपुर: मुख्य सचिव अमिताभ जैन की अध्यक्षता में मंत्रालय महानदी में जल जीवन मिशन के तहत गठित राज्य जल एवं स्वच्छता मिशन के शीर्ष कमेटी की वर्चुअल बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में जल जीवन मिशन के तहत स्वीकृत विभिन्न जल प्रदाय योजना की समीक्षा की गई। बैठक में जल प्रदाय योजनाओं की निविदा की अद्यतन स्थिति की भी समीक्षा की गई। मुख्य सचिव ने जल जीवन मिशन के तहत बेहतर कार्य करने वाली ग्राम पंचायतों को पुरस्कृत और सम्मानित करने के निर्देश अधिकारियों को दिए। उन्होंने जल प्रदाय योजनाओं के भौतिक सत्यापन करने के निर्देश विभागीय अधिकारियों को दिए है। इसी तरह से जल जीवन मिशन के अंतर्गत पूर्ण परियोजनाओं को ग्राम पंचायतों को हस्तांतरित कर ग्राम पंचायतों द्वारा इन जल प्रदाय योजनाओं के संधारण करने के संबंध में आवश्यक कार्यवाही करने के निर्देश विभागीय अधिकारियों को दिए गए है। लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के अधिकारियों ने बताया कि जल जीवन मिशन के अंतर्गत 116 ग्राम पंचायतों के 361 ग्रामों में हर घर जल प्रदाय करने का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। अधिकारियों ने बताया कि 22 ग्राम पंचायतों के 94 ग्रामों के पूर्णता प्रमाण पत्र दिया जाकर ग्राम पंचायतों को जल प्रदाय योजनाओं का हस्तांतरण कर दिया गया है।
राज्य जल एवं स्वच्छता मिशन की शीर्ष समिति की बैठक में जल जीवन मिशन के तहत प्रदेश की विभिन्न स्वीकृत जल प्रदाय योजनाओं की समीक्षा की गई। इसमें कबीरधाम जिले के धमकी बम्हनी समूह जल प्रदाय योजना, बलौदाबाजार जिले के खर्वे समूह जल प्रदाय योजना, बालोद जिले के कनेरी समूह जल प्रदाय योजना, कबीरधाम जिले के रंेगाखार समूह जल प्रदाय योजना, दुर्ग जिले के निकुम समूह जल प्रदाय योजना, दुर्ग जिले के अंजोरा ढ़ाबा समूह जल प्रदाय योजना, बलौदाबाजार जिले के गिरौदपुरी समूह जल प्रदाय योजना, दुर्ग जिले के जेवरा-सिरसाखुर्द-भटगांव समूह जल प्रदाय योजना, गरियाबंद जिले के सुपेबेड़ा समूह जल प्रदाय योजना से जल जीवन मिशन के तहत जल प्रदाय योजनाओं के माध्यम से विभिन्न गांवों की बसाहटों में पेयजल उपलब्ध कराया जाएगा। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से आयोजित इस बैठक में जल संसाधन विभाग के सचिव श्री अन्बलगन पी., लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के सचिव डॉ. एस. भारतीदासन, जल जीवन मिशन के मिशन संचालक श्री आलोक कटियार, वित्त विभाग की विशेष सचिव श्रीमती शीतल शाश्वत वर्मा सहित स्वास्थ्य विभाग, महिला बाल विकास विभाग, जनसम्पर्क विभाग और भारत सरकार जल शक्ति और पेयजल एवं स्वच्छता विभाग के अधिकारी भी शामिल हुए।