टैक्स डिपार्टमेंट ने निर्यात की डेडलाइन 3 महीने बढ़ाई, जानिए अब निर्यात के लिए कंटेनर की नहीं होगी किल्लत

वर्तमान में अगले छह महीनों के दौरान फिर से निर्यात की शर्त के साथ कंटेनरों के शुल्क मुक्त आयात की अनुमति है. हालांकि कंटेनरों को छह महीने से अधिक रखना आयात के दायरे में आता है.

Update: 2021-09-26 03:41 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। एक तरफ सरकार निर्यात के 400 बिलियन डॉलर के लक्ष्य को हासिल करने के लिए तत्पर है. वहीं, निर्यातक इस समय कंटेनर की समस्या से जूझ रहे हैं. निर्यात के लिए कंटेनरों की कमी की समस्या को दूर करने के लिए टैक्स डिपार्टमेंट ने घरेलू बंदरगाहों पर पड़े आयातित कंटेनरों के फिर से निर्यात की समय सीमा को और तीन महीने के लिए बढ़ाने का फैसला किया है. एक आधिकारिक बयान में शनिवार को यह जानकारी दी गई.

वर्तमान में अगले छह महीनों के दौरान फिर से निर्यात की शर्त के साथ कंटेनरों के शुल्क मुक्त आयात की अनुमति है. हालांकि कंटेनरों को छह महीने से अधिक रखना आयात के दायरे में आता है और फिर आयात शुल्क लगाया जाता है. इस तरह के आयात शुल्क से बचने के लिए कंपनियां खाली पड़े कंटेनरों का निर्यात करती हैं. इस तरह की गतिविधियों से हालांकि निर्यात के लिए कंटेनरों की कमी समस्या बढ़ रही हैं.
आयातकों ने भी समय सीमा बढ़ाने की मांग की थी
इसी कड़ी में केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड (CBIC) ने शनिवार को अपने फील्ड अधिकारियों से घरेलू बंदरगाहों पर पड़े आयातित कंटेनरों के फिर से निर्यात के लिए तीन महीने का और समय देने को कहा है. आयातकों ने भी समय सीमा बढ़ाने की मांग की थी. गौरतलब है कि कोविड-19 महामारी के कारण वैश्विक स्तर पर लदान भाड़े की दरों में बढ़ोतरी तथा कंटेनरों की संख्या में कमी हुई है. निर्यातक समुदाय ने बार-बार कंटेनरों की कमी का मुद्दा उठाया है, क्योंकि इससे निर्यात प्रभावित होता है.


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