पाकिस्तान में महंगाई से राहत नहीं मिली, अब एक परिवार को घर चलाने के लिए चाहिए इतना बजट

रूस-यूक्रेन युद्ध ने भी वैश्विक स्तर पर मुद्रास्फीति को बढ़ावा दिया है, जिससे पाकिस्तान के लोग संकट में हैं।

Update: 2022-06-19 02:43 GMT

पाकिस्तान में शहबाज शरीफ सरकार आने के बाद भी वहां की जनता को महंगाई से राहत नहीं मिली है। शहबाज के महंगाई पर रोक लगाने के वादे अब खोखले साबित हो रहे हैं। लोगों को महंगे ईंधन के चलते खाने-पीने की चीजों पर भी अपनी जेब ज्यादा ढीली करनी पड़ रही है। इसी के चलते अब पड़ोसी देश की महंगाई दर में बड़ा इजाफा देखने को मिला है। पाकिस्तान में संवेदनशील मूल्य सूचकांक (एसपीआई) द्वारा मापी गई मुद्रास्फीति दर में पिछले सप्ताह की तुलना में 3.38 फीसद का बड़ा उछाल आया है।

महंगाई के पिछले सारे रिकार्ड टूटे
डॉन की रिपोर्ट के अनुसार, एसपीआई को मापने के लिए आधार वर्ष में बदलाव के बाद से साप्ताहिक मुद्रास्फीति में वृद्धि सबसे अधिक है, जिससे पिछले सारे रिकार्ड टूट गए हैं। हालांकि पाकिस्तान के पूर्व वित्त मंत्री शौकत तारिन ने कीमतों में बढ़ोतरी के लिए इमरान खान के नेतृत्व वाली पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ सरकार के आईएमएफ के साथ समझौते को जिम्मेदार ठहराया।
एक परिवार को घर चलाने के लिए चाहिए 13000 रुपये
शौकत तारिन ने एक अन्य ट्वीट में चार सदस्यीय परिवार के मूल मासिक बजट के लिए एक ग्राफ पोस्ट किया, जो 31 मार्च 2022 से बढ़कर लगभग 13,000 रुपये हो गया है। उन्होंने कहा कि पेट्रोल-डीजल और बिजली की कीमतों में अब तक की वृद्धि का असर घरों पर पड़ा है। पता नहीं वे इससे और आने वाली मुद्रास्फीति सूनामी से कैसे निपटेंगे। उन्होंने आगे कहा, "मैं इस बात से चिंतित हूं कि पाकिस्तान में एक गरीब आदमी इस स्थिति में कैसे बचेगा।
पेट्रोल-डीजल कीमतों में 50 फीसद का इजाफा
बता दें कि हाल ही में पाक में पेट्रोल-डीजल कीमतों में भारी इजाफा हुआ है। पेट्रोल की कीमत 27 मई से पहले 149.86 पीकेआर (पाकिस्तानी रुपया) प्रति लीटर थी, लेकिन अब वह 56 फीसद बढ़कर 233.79 पीकेआर हो गई है। केरोसिन की कीमत भी 211.43 पीकेआर प्रति लीटर तय की गई है, जो 118.31 रुपये प्रति लीटर से 73 प्रतिशत उछली है। वहीं हल्के डीजल तेल की एक्स-डिपो कीमत 68.5 फीसद के इजाफे के साथ 207.4 रुपये प्रति लीटर हो गई है।
शहबाज शरीफ सरकार आने के बाद और बिगड़े हालात
एक स्थानीय मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि जब से पाकिस्तान में शहबाज शरीफ सरकार सत्ता में आई है, दैनिक आवश्यक चीजें महंगी होती जा रही हैं और पेट्रोल की कीमतों और बिजली की दरों में हालिया बढ़ोतरी के कारण आम आदमी की पहुंच से बाहर हो गई हैं। रूस-यूक्रेन युद्ध ने भी वैश्विक स्तर पर मुद्रास्फीति को बढ़ावा दिया है, जिससे पाकिस्तान के लोग संकट में हैं।

Tags:    

Similar News

-->