विदेश मंत्री ने आगे कहा, ''वैश्विक और क्षेत्रीय मुद्दों पर भी बातचीत हुई। उन्होंने द्विपक्षीय सहयोग समेत समग्र संबंधों को मजबूत करने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराई।" हैदराबाद हाउस में बैठक में अपनी शुरुआती टिप्पणी में एस. जयशंकर ने कहा कि विदेश मंत्री कुलेबा की यात्रा भारत को अपने क्षेत्र की स्थिति को समझने का अवसर देती है और मैं उस पर आपके दृष्टिकोण को सुनने के लिए उत्सुक हूं। द्विपक्षीय संबंधों में गति की बात करते हुए विदेश मंत्री ने कहा, ''दोनों देशों के बीच हाल के महीनों में विभिन्न स्तरों पर बातचीत हुई है।"
उन्होंने कहा, "मुझे यह देखकर खुशी हुई कि हमारे कुछ द्विपक्षीय मैकेनिज्म भी मिले हैं और इससे हमारे द्विपक्षीय संबंधों में एक निश्चित गति पैदा हुई है।" भारत की अपनी पहली यात्रा पर, यूक्रेन के विदेश मंत्री दिमित्रो कुलेबा ने गुरुवार को एक्स पर लिखा था, ''वह शांति के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर जेलेंस्की के बीच बातचीत को आगे बढ़ाने के लिए भारत में हैं।" उन्होंने कहा था कि भारत में उनकी बातचीत में जेलेंस्की द्वारा प्रस्तावित शांति फॉर्मूला शामिल होगा, जो यूक्रेन में न्यायसंगत और दीर्घकालिक शांति बहाल करने के लिए 10-सूत्रीय योजना का पालन करता है।