महिलाओं पर अपना शिकंजा कसने के मकसद से तालिबान ने एक नया फरमान सुनाया
इस तरह के आदेशों के बावजूद तालिबान दुनिया को भरोसा दिलाने पर तुला है कि वह अब बदल गया है। महिलाओं को उनके अधिकार दिए जाएंगे।
तालिबान ने जब से अफगानिस्तान पर कब्जा किया है उसका असली चेहरा सभी के सामने आ चुका है। महिलाओं के हित, शिक्षा और नौकरी की आजादी की बात करने वाला तालिबान ने अब अफगानिस्तान में महिलाओं का जीना दुशवार कर रखा है। अपने नए-नए प्रतिबंधों में तालिबान सरकार महिलाओं पर कई तरह की पाबंदियां पहले भी लगा चूका है। अब यहां की महिलाओं पर अपना शिकंजा कसने के मकसद से तालिबान ने एक नया फरमान सुना दिया है।
तालिबान अधिकारियों द्वारा काबुल में एक समारोह में हिबतुल्ला अखुंदजादा द्वारा जारी एक फरमान में कहा गया है कि, 'महिलाओं को एक चदोरी (सिर से पैर तक बुर्का) पहनना चाहिए क्योंकि यह पारंपरिक और सम्मानजनक है।'
कट्टर इस्लामवादियों द्वारा सत्ता हथियाने के बाद से यह महिलाओं के जीवन पर लगाए गए सबसे कठोर नियंत्रणों में से एक है।
इसमें कहा गया है कि महिलाएं सार्वजनिक स्थानों पर सिर्फ बुर्के में ही नजर आनी चाहिएं। अगर वो घर से बाहर निकलें तो बुर्का जरूर पहनें। ये आदेश तालिबान के सर्वोच्च नेता की तरफ से दिया गया है। इस तरह के आदेशों के बावजूद तालिबान दुनिया को भरोसा दिलाने पर तुला है कि वह अब बदल गया है। महिलाओं को उनके अधिकार दिए जाएंगे।