जानें कौन हैं ऑस्कर शिंडलर, जो हिटलर की नाजी पार्टी का था बिजनेसमैन, 1200 यहूदियों को बचाने के बाद खुद ही हुआ था कंगाल
इस दुनिया में अत्याचार करने वाले ना जाने कितने लोगों की बेशक आज भी बात की जाती हो, लेकिन
German Industrialist Oskar Schindler: इस दुनिया में अत्याचार करने वाले ना जाने कितने लोगों की बेशक आज भी बात की जाती हो, लेकिन इतिहास में हमारे सामने ऐसे इंसानों के भी उदाहरण हैं, जो धरती पर उतरे किसी फरिश्ते से कम नहीं थे. ऐसे ही इंसानों में से एक थे ऑस्कर शिंडलर (Oskar Schindler). वह एक बेहद निडर, तेज तर्रार और काफी अच्छे इंसान थे. जिन्हें धरती पर तब तक याद किया जाता रहेगा, जब तक ये दुनिया चलेगी. शिंडलर हैवानों के बीच रहने वाले एक मसीहा के तौर पर भी याद किए जाते हैं.
वो एडॉल्फ हिटलर (Adolf Hitler) की नाजी पार्टी से जुड़े थे और जर्मनी के उन सैनिकों के साथ उठते बैठते थे, जो यहूदियों को देखते ही गोली मारकर उनकी हत्या कर देते थे. लेकिन इन लोगों के बीच रहते हुए भी शिंडलर ने कई तरीकों का इस्तेमाल करते हुए अपनी बुद्धि के बल पर 1200 यहूदियों की जिंदगी बचा ली. साल 1941 से 1945 तक यहूदियों पर अत्याचार होता रहा, ये वो समय था जब दूसरा विश्व युद्ध चल रहा था.
यहूदियों कर्मियों को नरसंहार से बचाए रखा
इन लोगों को नग्न कर दौड़ाया जाता और जो स्वस्थ होते उनसे तब तक मजदूरी करवाई जाती, जब तक वह मर ना जाएं. और जो विक्लांग, बीमार या बुजुर्ग थे, उन्हें या तो गोली मार दी जाती थी या फिर गैस चैंबर में भेजकर मार दिया जाता था. इन गैस चैंबर पर लिखा होता था, 'बाथ एंड डिसइनफेक्ट'. यानी स्नान करो और कीटाणु हटाओ. दूसरा विश्व युद्ध खत्म होने तक 60 लाख यहूदी मारे जा चुके थे. लेकिन बेहद अमीर बिजनेसमैन शिंडलर (Oskar Schindler) ने अपना सबकुछ गंवाकर भी 1200 यहूदियों को तब तक बचाए रखा, जब तक जंग खत्म नहीं हो गई. इन लोगों को बचाने के बाद उन्होंने अपना सबकुछ गंवा दिया था.
शिंडलर की जिंदगी (Oskar Schindler movie) पर 1993 में 'Schindler's List' नामक फिल्म रिलीज हुई थी. इस फिल्म में हर चीज को उसके असल रूप में तौर पर दिखाया गया है. फिल्म में शिंडलर की भूमिका (Oskar Schindler character) ब्रिटिश अभिनेता लियाम नीसन (Liam Neeson) ने निभाई थी. 28 अप्रैल, 1908 में जन्मे जर्मन बिजनेसमैन ऑस्कर शिंडलर ने अपनी कंपनी में इन लोगों को काम दिया.
गोला बारूद की फैक्ट्री भी शुरू की
उनकी पहली कंपनी (Oskar Schindler enamelware factory) पोलैंड में थी, जहां इन यहूदियों से बर्तन बनवाए जाते थे. लेकिन जब वो काम नहीं चल पाया और इन 1200 यहूदियों की जान खतरे में पड़ी तो शिंडलर ने अपना काफी पैसा चेक गणराज्य में गोला बारूद की कंपनी शुरू करने में लगा दिया. उन्होंने जर्मन सेना को बेचने के लिए ये सामान बनाना शुरू किया, जिसकी अक्सर शिकायतें भी आतीं. लेकिन शिंडलर कहते थे कि वो खुद नहीं चाहते कि उनके गोला बारूद काम करें.
शिंडलर ने कई तरह के उद्योगों में अपना हाथ आजमाया, फिर वह 1936 में अब्वेहर यानी नाजी जर्मनी की खुफिया सेवा से जुड़ गए. वह 1939 में (Oskar Schindler before the war) नाजी पार्टी में शामिल हुए. शुरुआत में वह जर्मन सरकार के लिए रेलवे और सैनिकों के मूवमेंट से जुड़ी जानकारी एकत्रित करते थे. वह (oskar schindler biography) जर्मन के पोलैंड को कब्जे में किए जाने से पहले 1939 तक नाजियों के लिए जानकारी जुटाने का काम करते रहे. लेकिन फिर इसी साल दूसरा विश्व युद्ध शुरू हो गया.
खुफिया सेवा में काम करते थे शिंडलर
इसी दौरान शिंडलर ने पेलैंड में एनामिलवेयर नाम की कंपनी (Oskar Schindler company) शुरू की, जिसमें 1944 तक 1750 लोग काम करते थे. इनमें से 1000 यहूदी थे. नाजी खुफिया सेवा के लिए काम करने से शिंडलर को पता चल जाता था कि नाजियों को कौन से यातना शिविरो में ले जाया जा रहा है, इन्हें कहां, कब और कैसे मारा जा रहा है. इन्हीं जानकारियों का इस्तेमाल उन्होंने अपने यहूदी कर्मचारियों की जिंदगी बचाने में किया. समय के साथ-साथ वह नाजी अधिकारियों को महंगे तोहफे और रिश्वत के तौर पर बड़ी से बड़ी रकम देते रहे, ताकि अपने कर्मचारियों को बचाए रख सकें.
जुलाई, 1944 आते-आते जर्मनी युद्ध हार रहा था. जिन यहूदियों को पूर्वी हिस्सों के यातना शिविरों में रखा गया, अब उन्हें पश्चिम की ओर ले जाया जाने लगा. इनमें से कई की ऑशवित्ज (Auschwitz) और ग्रॉस-रेजन (Gross-Rosen) यातना शिविर में हत्या कर दी गई. लेकिन शिंडलर पोलैंड के कराकोव-प्लासजो यातना शिविर के कमांडेंट एमन गॉथ (Amon Goth) को मनाने में कामियाब रहे. उन्होंने गॉथ को अपनी फैक्ट्री को पोलैंड से चेक गणराज्य के ब्रूनेनिक तक ले जाने के लिए मना लिया. इससे उनके उन यहूदी कर्मियों की जान बच गई, जिन्हें किसी भी वक्त गैस चैंबर में मारा जा सकता था.
युद्ध खत्म होने तक सब गंवा दिया
गॉथ के सेक्रेटरी ने यहूदियों की सेवा वाली पुलिस से इन 1200 लोगों के नाम लेकर एक लिस्ट तैयार की. उनके 1200 कर्मचारी अक्टूबर, 1944 में ब्रूनेनिक पहुंचे. शिंडलर (Oskar Schindler during the war) इन अधिकारियों को युद्ध खत्म होने तक रिश्वत देते रहे ताकि उनके कर्मचारियों की जान बच सके.
जब मई, 1945 में यूरोप में युद्ध खत्म (Oskar Schindler after the war) हुआ, तब तक शिंडलर की जीवनभर की पूंजी रिश्वर देने और काला बाजारी के माध्यम से अपने कर्मचारियों की जरूरत का सामान खरीदने में खत्म हो चुकी थी. युद्ध खत्म होने के बाद शिंडलर पश्चिमी जर्मनी तक आए, जहां उन्हें यहूदी राहत शिविरों ने पैसे देकर मदद की. उन्होंने युद्ध के दौरान जितना पैसा खर्च किया था, उसके लिए इन संगठनों ने शिंडलर को धन मुहैया कराया.
पत्नी संग अर्जेंटीना गए शिंडलर
इसके बाद वह अपनी पत्नी एमिली के साथ अर्जेंटीना आकर बस गए. वह यहां खेती करने लगे. साल 1958 में दिवालिया होने के बाद शिंडलर पत्नी को छोड़ जर्मनी लौट आए. यहां उन्होंने कई कंपनियां शुरू कीं लेकिन कोई सफल नहीं हो पाई. उन्हें शिंडलरज्यूडन (शिंडलर द्वारा बचाए गए यहूदी) आर्थिक मदद देते रहे. इसके बाद 9 अक्टूबर, 1974 को शिंडलर की मौत (Oskar Schindler death date) हो गई.
उन्हें इजरायल में स्थित यरूशलेम (Oskar Schindler buried) की माउंट जियोन पहाड़ी (Oskar Schindler grave) पर दफनाया गया. वह नाजी पार्टी के अकेले ऐसे पूर्व शख्स थे, जिन्हें ये सम्मान मिला. साल 1993 में इजरायल की सरकार ने ऑस्कर शिंडलर और उनकी पत्नी एमिली को 'Righteous Among the Nations'नाम से सम्मानित (Oskar Schindler awards) किया. ये सम्मान इजरायल की सरकार उन गैर-यहूदी लोगों को देती है, जिन्होंने युद्ध के दौरान अपने परोपकारी कार्यों से यहूदियों को नरसंहार से बचाया था.