सिंगापुर में भारतवंशी पर कोविड नियम तोड़ने पर जुर्माना लगाया गया

भारतीय मूल के एक सिंगापुरी नागरिक पर अपने सास-ससुर की शादी की सालगिरह पर आयोजित रात्रिभोज में निर्धारित संख्या से अधिक लोगों को शामिल करने के आरोप में 3,000 सिंगापुरी डॉलर का जुर्माना लगाया गया है।

Update: 2021-10-28 02:40 GMT

भारतीय मूल के एक सिंगापुरी नागरिक पर अपने सास-ससुर की शादी की सालगिरह पर आयोजित रात्रिभोज में निर्धारित संख्या से अधिक लोगों को शामिल करने के आरोप में 3,000 सिंगापुरी डॉलर का जुर्माना लगाया गया है। देश में कोरोना काल में एक जगह पर सार्वजनिक रूप से 8 लोगों से ज्यादा को एकत्रित होने की अनुमति नहीं थी लेकिन गणशन अंगुदान ने रात्रिभोज में 20 मेहमानों को आमंत्रित किया।

उसे कोविड-19 नियंत्रण आदेश 2020 के उल्लंघन के मामले में दोषी ठहराया गया है। यह मामला 3 अप्रैल का है। इसके बाद उसने 10 अप्रैल को लिटिल इंडिया परिसर में एक बुकिंग भी की जिसमें 30 लोगों को न्योता दिया। इसके लिए गणेशन ने 700 सिंगापुरी डॉलर का भुगतान भी किया। आइए जानते हैं दुनिया की अन्य महत्वपूर्ण खबरें...
नेपाल के मुख्य न्यायाधीश ने इस्तीफा देने से किया इनकार
नेपाल के सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश चोलेंद्र शमशेर राणा ने सरकार से अपनी साठगांठ के आरोपों के बीच पद से इस्तीफा देने से इनकार कर दिया है। इससे नेपाल में असाधारण न्यायिक संकट खड़ा हो गया है। दरअसल राणा पर अपने रिश्तेदार को शेर बहादुर देउबा सरकार में मंत्री बनाने में करने मदद का आरोप है।
इस कारण वहां के सुप्रीम कोर्ट के जजों के एक धड़े ने मुख्य न्यायाधीश से इस्तीफे की मांग कर दी, जबकि कुछ वकीलों ने सर्वोच्च न्यायालय का बहिष्कार करने का फैसला किया है। राणा ने मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट के 15 न्यायाधीशों की बैठक में कहा कि महज सड़कों पर और मीडिया में आवाज उठने से वह अपने पद से त्यागपत्र नहीं देंगे, बल्कि वह सांविधानिक कार्यवाही का सामना करेंगे।
सूडान : लोकतंत्र समर्थक तीन शीर्ष कार्यकर्ता गिरफ्तार
सूडान में तख्तापलट के बाद लोकतंत्र समर्थक कार्यकर्ताओं के खिलाफ कार्रवाई जारी है। इसके तहत सेना ने देश में लोकतंत्र की वकालत करने वाले तीन प्रमुख लोगों को हिरासत में लिया है। इन लोकतंत्र समर्थकों में इस्माइल अल-ताज, सादिक अल-सादिक अल-महदीक और खालिद अल-सिलायक शामिल हैं। इस बीच, अंतरराष्ट्रीय समुदाय की ओर से सेना पर तख्तापलट वापस लेने का दबाव लगातार बढ़ रहा है। सेना द्वारा अपदस्थ प्रधानमंत्री अब्दुल्ला हमदोक और उनकी पत्नी को घर लौटने की अनुमति देने के कुछ घंटों बाद ही लोकतंत्र समर्थक तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया।

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