फ्रांस और भारत की नौसनाएं आज से अरब सागर में शुरू करेंगी एक्सरसाइज...तीन दिनों तक चलेगा अभ्यास

बढ़ते रक्षा सहयोग के बीच भारत और फ्रांस अपने द्विपक्षीय नौसैनिक अभ्यास का 19वां एडिशन ‘वरुण-2021’ रविवार से शुरू करेंगे

Update: 2021-04-25 02:19 GMT

बढ़ते रक्षा सहयोग के बीच भारत और फ्रांस (India and France) अपने द्विपक्षीय नौसैनिक अभ्यास (Bilateral Naval Exercise) का 19वां एडिशन 'वरुण-2021' (Varuna-2021) रविवार से शुरू करेंगे. ये तीन दिवसीय अभ्यास अरब सागर में किया जाएगा. इससे पहले अप्रैल में, भारतीय और फ्रांसीसी नौसेनाओं ने अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया की नौसेनाओं के साथ, 5 अप्रैल से 7 अप्रैल के बीच बंगाल की खाड़ी में 'ला पेरेस' अभ्यास में भाग लिया था. अधिकारियों ने कहा कि 'वरुण' अभ्यास दोनों देशों की नौसेनाओं के बीच तालमेल और सहयोग के बढ़ते स्तर को दर्शाएगा.

भारतीय नौसेना (Indian Navy) ने शनिवार को एक बयान में कहा कि दोनों देशों की नौसेनाएं समुद्री क्षेत्र में शांति, सुरक्षा और स्थिरता को बढ़ावा देने के लिए और अपनी क्षमता को दिखाने के लिए अपने युद्ध लड़ने की स्किल को बढ़ाने और उसे बेहतर बनाने का प्रयास करेंगी. इसी के साथ, वरुण-2021 के पूरा होने पर INS तारक 28 अप्रैल से 1 मई तक फ्रेंच नेवी के कैरियर स्ट्राइक ग्रुप (CSG) के साथ अभ्यास करना जारी रखेगा.
भारत और फ्रांस की तरफ से इन हथियारों को किया जाएगा शामिल
बयान में कहा गया है कि इस एक्सरसाइज में भारतीय नौसेना के गाइडेड मिसाइल स्टील्थ डिस्ट्रॉयर INS कोलकाता, गाइडेड मिसाइल फ्रिगेट INS तारकेश और INS तलवार, बेड़े के सपोर्ट शिप INS दीपक, कलवरी क्लास की पनडुब्बी और P-8V लंबी दूरी के समुद्री गश्ती विमान हिस्सा लेंगे. वहीं, फ्रांसीसी नौसेना की तरफ से उसके विमानवाहक पोत चार्ल्स-डी-गॉले का राफेल-एम फाइटर जेट्स और ई 2 सी हॉकी विमान, शेवेलियर पॉल, एक्विटेन-क्लास मल्टी-मिशन फ्रिगेट प्रोवेंस और टैंकर वार इस अभ्यास में शामिल होंगे.
चीन की बढ़ती चुनौती से निपटने के लिए महत्‍वपूर्ण है ये एक्सरसाइज
भारतीय पक्ष की अगुवाई पश्चिमी बेड़े के फ्लैग ऑफिसर कमांडिंग रियर एडमिरल अजय कोचर करेंगे, जबकि फ्रांसीसी पक्ष का नेतृत्व टास्क फोर्स 473 के कमांडर रियर एडमिरल मार्क औसादत करेंगे. भारत और फ्रांस रणनीतिक साझेदारी (Strategic Partnership) को मजबूत करने के लिए ये संयुक्त अभ्यास कर रहे हैं.
यह एक उच्च स्तरीय नौसेनिक अभ्यास (High Level Naval Exercise) है, जो हिंद महासागर में चीन की बढ़ती चुनौती से निपटने के लिए बेहद महत्‍वपूर्ण है. भारत औ फ्रांस के संबंध विशेष तौर पर आतंकवाद, रक्षा, परमाणु और अंतरिक्ष जैसे मुद्दों पर पारंपरिक रूप से काफी अच्छे रहे हैं. दोनों देशों के बीच कुल तीन सैन्य अभ्यासों- अभ्यास वरुण (नौसेना), अभ्यास गरुण (वायुसेना) और अभ्यास शक्ति (थल सेना) का आयोजन किया जाता है.


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