कोरोना काल: शराब से लिवर संबंधी बीमारियों से मौतों में 21 फीसदी इजाफा
कोरोना महामारी की शुरुआत के साथ ही शराब से होने वाले लिवर संबंधी बीमारियों से मौतों में 21 फीसदी का इजाफा हुआ है।
कोरोना महामारी की शुरुआत के साथ ही शराब से होने वाले लिवर संबंधी बीमारियों से मौतों में 21 फीसदी का इजाफा हुआ है। पब्लिक हेल्थ इंग्लैंड (पीएचई) के अनुसार ब्रिटेन में वित्त वर्ष 2020-21 के बीच 1.26 करोड़ अधिक लीटर शराब की बिक्री हुई है क्योंकि घर में कैद लोगों ने शराब अधिक पीना शुरू कर दिया।
पीएचई की रिपोर्ट के अनुसार ब्रिटेन में वर्ष 2020 में शराब के कारण मौतों की दर में 20.8 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई है। वर्ष 2019-20 की तुलना में इसमें 2.9 फीसदी की बढ़ोतरी देखी गई है। वर्ष 2019 में 5819 लोगों की मौत हुई।
वहीं 2020 में मौतों का आंकड़ा बढ़कर 6893 हो गया है। सबसे हैरानी की बात ये है कि वर्ष 2020 में हुईं 80.3 फीसदी मौतों का कारण शराब से होने वाली लिवर की बीमारी थी।
पीएचई हैरान, घर बना मयखाना
पीएचई ने अपने शोध में पाया है कि महामारी से पहले जितनी शराब बिक्री के लिए जारी होती थी उतनी ही शराब महामारी में भी जारी की गई। हैरानी की बात ये है कि करीब 31 सप्ताह लॉकडाउन रहा, जिसमें पब, रेस्त्रां और बार इत्यादि बंद रहे। इसके बावजूद लोगों ने दुकान से शराब खरीदी और घर को ही मयखाना बना दिया, इसी कारण शराब की बिक्री में भी 24.4 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है।
शराब ने बढ़ाई मानसिक तकलीफ
महामारी में शराब अधिक पीने के कारण वर्ष 2019-20 में मानसिक स्वास्थ्य संबंधी तकलीफ से गुजरने वाले लोगों की संख्या में भी 10.8 फीसदी का इजाफा हुआ है। वर्ष 2018-19 में इस तरह के मामलों में केवल 1.1 फीसदी की बढ़ोतरी देखी गई थी। राहत ये है कि इस कारण अस्पताल में भर्ती होने वाले मरीजों की संख्या घटी है। एल्कोहल पॉइजनिंग के मामलों में भी 15.4 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है।
ये बेहद गंभीर चिंता का विषय
ब्रिटिश लिवर ट्रस्ट के सीईओ डॉ. पमेला हेली का कहना है कि महामारी के बीच शराब के कारण लिवर संबंधी बीमारियां चिंता का विषय हैं। तनाव, अकेलापन और अन्य चिंताओं के कारण महामारी में घर पर रहते हुए शराब पीने की लत बढ़ी है, इसका सीधा असर लिवर पर पड़ता है।
कोरोना फिर से हावी हो रहा है ऐसे में शराब के कारण लिवर संबंधी तकलीफ से ग्रसित मरीजों का इलाज मुश्किल होगा और जान जानी तय है।