चीन की कोरोना वैक्सीन 'बेकार', खुद के अधिकारी ने खोली पोल, बताया सच

कोरोना वैक्सीन

Update: 2021-04-11 17:01 GMT

चीन की वैक्सीन भी 'बेकार', खुद के अधिकारी ने खोली पोलचीन (China) के शीर्ष रोग नियंत्रण अधिकारी ने कहा है कि देश के कोरोना वायरस (Coronavirus) संक्रमण रोधी टीके (Vaccine) कम असरदार हैं और सरकार इन्हें और अधिक प्रभावी बनाने पर विचार कर रही है. चीन के रोग नियंत्रण केन्द्र (CDC)) के निदेशक गाओ फू ने शनिवार को चेंगदू शहर में एक संगोष्ठी में कहा कि चीन के टीकों (Chinese Vaccine) में 'बचाव दर बहुत ज्यादा नहीं है.'


गाओ का यह बयान ऐसे वक्त में सामने आया है जब चीन ने अन्य देशों को टीकों की करोड़ों खुराके दी हैं और पश्चिमी देशों के टीकों के प्रभावी होने पर संशय पैदा करने और बढ़ावा देने की भी वह लगातार कोशिश कर रहा है. उन्होंने कहा कि अब इस बात पर गंभीरता से विचार हो रहा है कि क्या हमें टीकाकरण प्रक्रिया के लिए अलग-अलग टीकों का इस्तेमाल करना चाहिए.


चीन के टीके 50.4 प्रतिशत प्रभावी
अधिकारियों ने रविवार को प्रेस कान्फ्रेंस में गाओ की टिप्पणी या आधिकारिक योजनाओं में संभावित परिवर्तनों को लेकर सवालों के सीधे जवाब नहीं दिए लेकिन सीडीसी के एक अन्य अधिकारी ने कहा कि एमआरएनए-आधारित टीकों पर काम किया जा रहा है. अधिकारी वांग हुआंग ने कहा कि हमारे देश में विकसित एमआरएनए-आधारित टीके भी क्लीनिकल परीक्षण चरण में प्रवेश कर चुके हैं.

विदेश मंत्रालय के अनुसार दो देशों की दवा निर्माताओं कंपनियों, सिनोवैक और सिनोपार्म द्वारा बनाए गए टीके, मैक्सिको, तुर्की, इंडोनेशिया, हंगरी, ब्राजील और तुर्की सहित 22 देशों में निर्यात किए गए हैं. ब्राजील के शोधकर्ताओं ने चीन की टीका निर्माता कंपनी सिनोवैक के संक्रमण रोधी टीकों के असरदार होने की दर लक्षण वाले संक्रमण से बचाव में 50.4 प्रतिशत पाई. वहीं इसके मुकाबले फाइजर द्वारा बनाए गए टीके 97 प्रतिशत असरदार पाए गए.

घरेलू वैक्सीन से टीकाकरण कर रहा चीन
गौरतलब है कि चीन ने अपने देश में किसी अन्य देश के टीके के इस्तेमाल को अभी मंजूरी नहीं दी है. गाओ ने टीके के संबंध में रणनीति पर किसी तरह के बदलाव के ब्योरे तो नहीं दिए लेकिन उन्होंने 'एमआरएनए' का जिक्र किया. यह प्रयोग की एक तकनीक है जिसका इस्तेमाल पश्चिम देशों के टीका निर्माता करते हैं, वहीं चीन के दवा निर्माता पारंपरिक तकनीक का इस्तेमाल करते हैं.

उन्होंने कहा कि प्रत्येक व्यक्ति को उन लाभ के बारे में विचार करना चाहिए, जो एमआरएनए टीके मानव जाति को पहुंचा सकते हैं. हमें सावधानी से उसका अनुसरण करना चाहिए और केवल इसलिए उसकी अनदेखी नहीं करनी चाहिए कि हमारे पास पहले से ही अनेक प्रकार के टीके हैं.


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