टेस्टिंग के लिए चीन ने लॉन्च किया नया सैटेलाइट, आखिर क्या है ड्रैगन का इरादा?

चीन ने लॉन्च किया नया सैटेलाइट

Update: 2021-11-25 08:22 GMT
चीन (China) ने परीक्षण के लिए एक नए सैटेलाइट को गुरुवार को सफलतापूर्वक लॉन्च किया. सरकारी मीडिया की खबर के अनुसार, 'शियान-11' सैटेलाइट (Shiyan-11 satellite) इनर मंगोलिया के गोबी रेगिस्तान (Gobi Desert) में जिउक्वान 'सैटेलाइट लॉन्च सेंटर' (Jiuquan Satellite Launch Centre) से कुआइझोउ -1 ए वाहक रॉकेट (Kuaizhou-1A carrier rocket) के जरिए प्रक्षेपित किया गया. हाल के दिनों में चीन ने अंतरिक्ष क्षेत्र में बढ़त बनाने के लिए कई सारी लॉन्चिंग की है. इसमें सबसे महत्वपूर्ण चीनी स्पेस स्टेशन (Chinese Space Station) के निर्माण को लेकर की गई लॉन्चिंग रही है.
'चाइना ग्लोबल टेलीविजन नेटवर्क (सीजीटीएन) की खबर के अनुसार, सैटेलाइट ने अपनी पूर्व निर्धारित कक्षा में प्रवेश कर लिया है. 'शियान-11' का निर्माण परीक्षण के लिए किया गया है, लेकिन सैटेलाइट के नवीनतम मिशन के उद्देश्य के संबंध में अभी तक कोई स्पष्ट जानकारी नहीं दी गई है. चीनी सैटेलाइटों की एक और श्रृंखला है जिसे शिजियन (Shijian) कहा जाता है, उसका उपयोग टेक्नोलॉजी वेरिफिकेशन के लिए किया जाता है. इससे पहले अक्टूबर में 'शिजियन-21' (Shijian-21) का प्रक्षेपण किया गया था. कुआइझोउ -1 ए वाहक रॉकेट तेज रफ्तार से अंतरिक्ष में सैटेलाइट को लॉन्च करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है.
उच्च क्षमता वाली तस्वीरें देने वाले सैटेलाइट लॉन्च किया
एक महीने पहले, चीन ने ठोस ईंधन से चलने वाले सस्ते एवं छोटे रॉकेट कुआझोउ-1 ए से एक ऑप्टिकल सुदूर संवेदी सैटेलाइट को सफलतापूर्वक लॉन्च किया था. सरकारी संवाद समिति शिन्हुआ ने खबर दी कि उसे उत्तर पश्चिमी गांसू प्रांत के जियाकुआन उपग्रह प्रक्षेपण केंद्र से प्रक्षेपित किया गया. जिलिन-1 गावफेन 02 एफ सैटेलाइट को स्थानीय समयानुसार दो बजकर 19 मिनट पर कुआझोउ-1 ए रॉकेट लेकर रवाना हुआ और वह उपग्रह कक्षा में दाखिल हुआ. जिलिन-1 गावफेन 02 एक ऑप्टिकल सुदूर संवेदी सैटेलाइट है, जो बिल्कुल उच्च क्षमता वाली तस्वीरें एवं उच्च रफ्तार से आंकड़े दे सकता है.
अंतरिक्ष में पकड़ मजबूत कर रहा चीन
अंतरिक्ष क्षेत्र में चीन अमेरिका को पछाड़ना चाहता है. यही वजह है कि वह लगातार स्पेस में तरह-तरह के सैटेलाइट्स को लॉन्च कर रहा है. इसके अलावा, चीन खुद का स्पेस स्टेशन भी तैयार कर रहा है. इसकी मंशा अंतरिक्ष क्षेत्र में अपनी पकड़ मजबूत करने की है. इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन के रिटायर होने के बाद अंतरिक्ष में चीनी स्पेस स्टेशन ही एकमात्र स्पेस स्टेशन होने वाला है. हालांकि, कई बार चीन के इरादों को लेकर संदेह भी जताया जाता था. हाल ही में खबर आई कि चीन को पछाड़ने के लिए अमेरिका ने भी अब कमर कस ली है और वह अंतरिक्ष में स्पेस हाइवे बनाने की तैयारी कर रहा है.
Tags:    

Similar News

-->