सना: यमन के मध्य अल-बायदा प्रांत में दो अलग-अलग अमेरिकी ड्रोन हमलों में कम से कम 10 हूती विद्रोही मारे गए। यह जानकारी यमन सरकार के एक सैन्य सूत्र ने मीडिया को दी। सूत्र ने मंगलवार को नाम न बताने की शर्त पर बताया कि हमलों में अस-सौमाह और धी-नईम जिलों में मोबाइल रॉकेट लांचर को निशाना बनाया गया।
शिन्हुआ समाचार एजेंसी के मुताबिक स्थानीय निवासियों ने सोशल मीडिया पर बताया कि हूती ग्रुप ने टारगेटेड व्हीकल को घेर लिया और घटनास्थल की ओर जाने वाली सड़कों को ब्लॉक कर दिया। हूती ग्रुप द्वारा संचालित अल-मसीरा टीवी ने भी 'अमेरिकी ड्रोन' द्वारा किए गए दो हमलों की सूचना दी लेकिन कोई और विवरण नहीं दिया। हूती ग्रुप अपने हताहतों या नुकसान के बारे में शायद ही कभी जानकारी देता है।
मंगलवार को ही, यूएस सेंट्रल कमांड ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट किया। इसमें कहा गया कि यूएसएस अब्राहम लिंकन (सीवीएन 72) के विमान अमेरिकी सेंट्रल कमांड के जिम्मेदारी वाले क्षेत्र में ईरान समर्थित हूती विद्रोहियों के खिलाफ ऑपरेशन का समर्थन करते हैं। एक वीडियो भी शेयर किया गया जिसमें विमानवाहक पोत से युद्धक विमानों को उड़ान भरते हुए दिखाया गया। अल-मसीरा टीवी ने पिछले तीन दिनों में राजधानी सना के साथ-साथ अमरान और सादा प्रांतों में अमेरिकी-ब्रिटिश गठबंधन के युद्धक विमानों द्वारा किए गए कई हवाई हमलों की खबर दी है।
यमन 2014 के अंत से गृहयुद्ध में उलझा हुआ है जब हूती ग्रुप ने कई उत्तरी प्रांतों पर कब्जा कर लिया था। इसकी वजह से अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त यमन सरकार को सना से बाहर होना पड़ा। पिछले नवंबर से, हूती ग्रुप ने इजरायल पर रॉकेट और ड्रोन हमले कर रहा है और लाल सागर में 'इजरायल से जुड़े' शिपिंग को भी निशाना बना रहा है। उसका दावा है कि ये कार्रवाइयां इजरायल-फिलिस्तीनी संघर्ष के बीच गाजा में फिलिस्तीनियों के प्रति एकजुटता दिखान के लिए है।
इसके जवाब में, लाल सागर में तैनात अमेरिकी नेतृत्व वाले नौसेना गठबंधन ने जनवरी से हूती टारगेट्स के खिलाफ नियमित हमले किए ताकि हूती ग्रुप को इंटरनेशनल शिपिंग लेन को बाधित करने से रोका जा सके।