UPI Mistakes: इन 3 गलतियों की वजह से हो सकता तगड़ा नुकसान

Update: 2023-06-02 10:00 GMT
कोविड 19 महामारी के आने के बाद से भारत में डिजिटल लेन-देन का चलन बढ़ रहा है। एक तरफ जहां इन लेन-देन से जिंदगी आसान हो गई है, वहीं दूसरी तरफ कुछ ऐसी गलतियां भी हैं जो आपकी गाढ़ी कमाई को पल भर में उड़ा सकती हैं। कुछ समय पहले एक सरकारी डेटा सामने आया था जिसमें खुलासा हुआ था कि पिछले साल 95 हजार से ज्यादा UPI फ्रॉड की घटनाएं हुईं।
आप लोगों की जानकारी के लिए हम आपको बता दें कि एक घटना हमारे जानने वाले के साथ हुई, जिसमें एक व्यक्ति ने यूपीआई भुगतान प्राप्त करने के बहाने अपने परिचित व्यक्ति को क्यूआर कोड दिखाया और उसे स्कैन करने के लिए कहा, और फिर यह क्या था? खाते से पैसे उड़ा लिए गए। आपको बता दें कि यूपीआई पेमेंट करने से यूजर की केवाईसी डिटेल पता नहीं चल पाती है, लेकिन यूजर्स कुछ ऐसी गलतियां कर बैठते हैं जिससे बाद में उन्हें नुकसान उठाना पड़ता है।
पैसे लेते समय भूलकर भी न करें ये गलती
पुलिस का कहना है कि जालसाज क्यूआर कोड के जरिए लोगों से ठगी करते हैं। जालसाज उपयोगकर्ता को यह विश्वास दिलाते हैं कि वे क्यूआर कोड के जरिए पैसे भेज रहे हैं। ऑनलाइन जालसाज उपयोगकर्ता से क्यूआर कोड को स्कैन करने के लिए कहते हैं और जैसे ही उपयोगकर्ता क्यूआर कोड को स्कैन करता है, उन्हें यूपीआई पिन दर्ज करने के लिए कहा जाता है। बता दें कि आमतौर पर यूजर्स यह गलती करते हैं और पैसे क्रेडिट करने के बजाय खाते से डेबिट हो जाते हैं।
यूपीआई लेनदेन के लिए सार्वजनिक वाई-फाई का उपयोग
अगर आप भी कभी कोई यूपीआई ट्रांजैक्शन करते हैं तो इस बात का खास ख्याल रखें कि खुले वाई-फाई में फंसने की गलती न करें। यूपीआई लेनदेन करने के लिए केवल सुरक्षित वाई-फाई कनेक्शन या मोबाइल डेटा का उपयोग करें। खुले या सार्वजनिक वाई-फाई का उपयोग करने से वित्तीय जोखिम भी हो सकता है।
यूजर्स अनजान लिंक्स के साथ यह गलती करते हैं
अगर आपको किसी अनजान व्यक्ति का कोई ईमेल या मैसेज या व्हाट्सएप पर कोई लिंक मिलता है तो लिंक पर क्लिक करना न भूलें। अगर आप ऐसा करते हैं तो आपका फोन हैक हो सकता है और आपके फोन में मौजूद बैंकिंग डिटेल्स लीक हो सकती हैं। अक्सर देखा जाता है कि लोग ऐसी गलतियां कर बैठते हैं जिससे उन्हें हजारों-लाखों का नुकसान उठाना पड़ता है।
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