30 मई को 'हिंदी पत्रकारिता दिवस' मनाने की वजह जानते हैं क्या आप

यह साप्ताहिक पत्र पुस्तकाकार (12x8) छपता था और हर मंगलवार को निकलता था।

Update: 2023-05-30 17:50 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क | यह साप्ताहिक पत्र पुस्तकाकार (12x8) छपता था और हर मंगलवार को निकलता था।

इसके कुल 79 अंक ही प्रकाशित हो पाए थे कि डेढ़ साल बाद दिसंबर, 1827 ई. को इसका प्रकाशन बंद करना पड़ा।

कंपनी सरकार ने मिशनरियों के पत्र को तो डाक आदि की सुविधा दे रखी थी, परंतु चेष्टा करने पर भी "उदंत मार्तंड" को यह सुविधा प्राप्त नहीं हो सकी।

इस पत्र में ब्रज और खड़ी बोली दोनों के मिश्रित रूप का प्रयोग किया जाता था जिसे इस पत्र के संचालक "मध्यदेशीय भाषा" कहते थे।हिंदी भाषा में 'उदन्त मार्तण्ड' के नाम से पहला समाचार पत्र 30 मई, 1826 में निकाला गया था। इसलिए इस दिन को हिंदी पत्रकारिता दिवस के रूप में मनाया जाता है। पंडित जुगल किशोर शुक्ल ने इसे कलकत्ता से एक साप्ताहिक समाचार पत्र के तौर पर शुरू किया था। इसके प्रकाशक और संपादक भी वे खुद थे। इस तरह हिंदी पत्रकारिता की शुरुआत करने वाले पंडित जुगल किशोर शुक्ल का हिंदी पत्रकारिता की जगत में विशेष सम्मान है।

Tags:    

Similar News

-->