सीएसके की पहली पंसद थे वीरेंद्र सहवाग, सुब्रमण्यम बद्रीनाथ ने किया खुलासा
महेंद्र सिंह धोनी की अगुवाई में चेन्नई सुपर किंग्स ने 4 बार आईपीएल का खिताब जीता है
जनता से रिश्ता वेबडेस्क | महेंद्र सिंह धोनी की अगुवाई में चेन्नई सुपर किंग्स ने 4 बार आईपीएल का खिताब जीता है। आईपीएल 2020 के प्रदर्शन को छोड़ दिया तो धोनी की अगुवाई में हर आईपीएल के सीजन में टीम ने शानदार प्रदर्शन किया है। धोनी को सीएसके ने पहली बार 6 करोड़ रुपये में खरीदा था। वो साल 2008 से ही उनके पंसदीदा खिलाड़ी रहे हैं। हर आईपीएल मेगा नीलामी से पहले उन्हें चेन्नई ने रिटेन रखा है। इंटरनेशन क्रिकेट से संन्यास लेने के बाद भी वो टीम से जुड़े हैं। ये बात बहुत कम लोग जानते हैं कि टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सीएसके की पहली पंसद नहीं थे। उनकी पहली पसंद वीरेंद्र सहवाग थे, लेकिन योजनाओं को बदलना पड़ा।
सीएसके के पूर्व बल्लेबाज सुब्रमण्यम बद्रीनाथ ने खुलासा किया था कि फ्रेंचाइजी ने 2008 में धोनी को नहीं बल्कि वीरेंद्र सहवाग को खरीदने का फैसला किया था। उन्होंने कहा,'सीएसके मैनेजमेंट ने (आईपीएल 2008 से पहले) सहवाग को चुनने का फैसला किया था, लेकिन सहवाग ने खुद कहा था कि उनकी परवरिश दिल्ली में हुई है। इसलिए उनका (दिल्ली डेयरडेविल्स के साथ) बेहतर संबंध होगा। मैनेजमेंट सहवाग के लिए राजी हो गया ये सोचकर कि उनसे बेहतर कौन होगा। फिर नीलामी हुई, और उन्होंने देखा कि कौन बेहतर खिलाड़ी है। इससे पहले भारत ने 2007 में टी-20 वर्ल्ड कप जीता था। और उसके बाद ही उन्होंने धोनी को साइन करने का फैसला किया।'
सहवाग ने अपना सारा क्रिकेट दिल्ली की टीम के लिए खेला था। इसलिए सहवाग ने नीलामी में हिस्सा नहीं लिया और वो दिल्ली डेयरडेविल्स में आइकन खिलाड़ी के रूप में शामिल हो गए। उस समय एक आइकन खिलाड़ी नीलामी में फ्रैंचाइजी के टॉप चयन की तुलना में 15 फीसदी अधिक वेतन का हकदार था। सीएसके ने किसी भी आइकन खिलाड़ी को नहीं चुना और नीलामी में जाने वाली अन्य टीमों से थोड़ा फायदा हुआ। मुंबई इंडियंस धोनी को धोनी को खरीदना चाहती थी, लेकिन सीएसके को फायदा थाा और उन्होंने 6 करोड़ रुपये खर्च करके उन्हें सबसे महंगा पिक बनाया