पाकिस्तान की ब्लाइंड टीम टी20 विश्व कप 2022 में भाग नहीं ले पाएगी. भारत की ओर से उसका वीजा रिजेक्ट कर दिया गया है. ब्लाइंड क्रिकेट फेडरेशन ऑफ इंडिया (CABI) के अध्यक्ष जीके महंतेश ने इस बात की जानकारी दी है. इस टूर्नामेंट का आयोजन 5 दिसंबर से 17 दिसंबर तक नौ शहरों में हो रहा है.
जीके महंतेश ने आजतक/इंडिया टुडे से कहा, 'पाकिस्तान का वीजा खारिज हो गया है. वे विश्व कप में भाग लेने नहीं आ रहे हैं. हमने बहुत कोशिश की लेकिन सफल नहीं हो सके. यह हमारे हाथ में नहीं है. यह सरकार का फैसला है.' टूर्नामेंट में भारत ने शानादार आगाज करते हुए अपने पहले मैच में नेपाल को 274 रन से हरा दिया. शेड्यूल के मुताबिक 7 दिसंबर को भारत-पाकिस्तान का भी मुकाबला होना था, लेकिन अब ऐसा संभव नहीं हो पाएगा.
उधर पाकिस्तान ब्लाइंड क्रिकेट काउंसिल (PBCC) का भी पूरे मामले पर बयान सामने आया है. पीबीसीसी ने कहा, 'इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना ने पाकिस्तान टीम को अधर में छोड़ दिया है. पाकिस्तान विश्व कप जीतने का दावेदार था क्योंकि पाकिस्तान 2012 और 2017 के पिछले दो संस्करणों में उपविजेता रहा है और उसने मौजूदा टी20 विश्व चैम्पियन भारत को साल 2021 और 2022 में हुई त्रिकोणीय सीरीज के दौरान लगातार पांच बार हराया है. साथ ही दोनों टूर्नामेंट में उसने जीत भी हासिल की.'
बयान में पीबीसीसी ने आगे कहा, 'इस बात की काफी संभावना थी कि पाकिस्तान और भारत ब्लाइंड विश्व कप के फाइनल में आमने-सामने होंगे और पाकिस्तान टीम के मौजूदा फॉर्म को देखते हुए उसके पास विश्व कप जीतने का सुनहरा मौका था.' पीबीसीसी ने बताया कि उपलब्ध जानकारी के अनुसार विदेश मंत्रालय ने राजनीतिक आधार पर पाकिस्तान ब्लाइंड क्रिकेट को मंजूरी देने से इनकार कर दिया है.
पीबीसीसी ने कहा, 'खेल को क्षेत्रीय राजनीति से ऊपर होना चाहिए और खास तौर पर दिव्यांग व्यक्तियों के मेगा खेल आयोजनों में उचित व्यवहार किया जाना चाहिए. साथ ही सभी टीमों को इस आयोजन में भाग लेने के लिए समान अवसर दिए जाने चाहिए. भारतीय ब्लाइंड क्रिकेट एसोसिएशन ने पाकिस्तान टीम की वीजा मंजूरी के लिए अपनी सरकार से गुहार लगाई लेकिन यह व्यर्थ गया.'
पीबीसीसी ने आगे कहा, 'पाकिस्तान के प्रति मौजूदा भारत सरकार की नफरत की वजह से दिव्यांग व्यक्तियों के लिए संयुक्त राष्ट्र चार्टर (UNCRPD) का भी उल्लंघन हुआ है, जो देशों को खेल खेलने के समान अवसर प्रदान करने के लिए प्रेरित करता है. इस भेदभावपूर्ण रवैये का ग्लोबल ब्लाइंड क्रिकेट पर गंभीर असर होगा. पीबीसीसी वर्ल्ड ब्लाइंड क्रिकेट में उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेंगे और भारत को भविष्य के इंटरनेशल आयोजनों की मेजबानी करने की अनुमति नहीं देंगे.