कब है ऋषि पंचमी, जानें तारीख, मुहूर्त और विधि

Update: 2023-09-19 11:41 GMT
हिंदू धर्म में पर्व त्योहारों की कमी नहीं है एक आता है तो दूसरा जाता है पंचांग के अनुसार अभी भाद्रपद मास चल रहा है और इस माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को ऋषि पंचमी का व्रत किया जाता है जो कि बेहद ही खास माना जाता है।
 हर साल यह पर्व गणेश चतुर्थी के एक दिन बाद मनाया जाता है इस बार ऋषि पंचमी का त्योहार 20 सितंबर दिन बुधवार को पड़ रहा है। इस दिन विशेष रूप से ऋषियों की पूजा की जाती है इसके साथ ही ब्राह्माणों को दान दक्षिणा भी दिया जाता है। साथ ही ऋषि पंचमी के दिन व्रत करने से जाने अनजाने होने वाले पापों से मुक्ति मिल जाती है तो आज हम आपको ऋषि पंचमी की पूजा विधि बता रहे हैं।
 ऋषि पंचमी की पूजा विधि—
आपको बता दें कि ऋषि पंचमी के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि करें। इसके बाद साफ वस्त्रों को धारण कर घर के पूजन स्थल की सफाई कर गंगाजल का छिड़काव करें। अब धूप, दीपक, फल, पुष्प, घी, पंचामृत को एक पास रखकर चौकी पर लाल वस्त्र बिछाएं। चौकी पर सप्तऋषि की तस्वीर रखकर पूजन आरंभ करें। अब फल, पुष्प और नैवेद्य अर्पित करते हुए अपनी गलतियों के लिए क्षमा याचना करें। इसके बाद आरती करें और प्रसाद सभी में बांट दें। मान्यता है कि इस विधि से पूजा करने से पूर्ण फल की प्राप्ति होती है।
 ऋषि पंचमी का मुहूर्त—
पंचांग अनुसार पंचमी तिथि का आरंभ 19 सितंबर दिन मंगलवार को दोपहर 1 बजकर 43 मिनट से हो रहा हैं इस तिथि का समापन 20 सितंबर को दोपहर 2 बजकर 16 मिनट पर हो जाएगा। ऋषि पंचमी का त्योहार 20 सितंबर को मनाया जाएगा। इस दिन पूजा का शुभ मुहूर्त सुबह 11 बजकर 19 मिनट से 1 बजकर 45 मिनट तक रहेगा।
 
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