Mohini Ekadashi 2022: आखिर क्यों लिए थे भगवान विष्णु मोहिनी का रूप, जानें पीछे की कहानी
एकादशी हर महीने दो पक्षों में आती है
Mohini Ekadashi 2022: एकादशी हर महीने दो पक्षों में आती है. एक शुक्ल पक्ष में और कृष्ण पक्ष में. यह व्रत भगवान विष्णु के लिए रखा जाता है. वहीं मोहिनी एकादशी श्रेष्ठ एकादशी में से एक है. इस साल यह एकादशी 12 मई दिन गुरुवार को मनाई जाएगी. बता दें कि वैशाख माह की शुक्ल पक्ष में आने वाली एकादशी मोहिनी एकादशी कहलाती है. ऐसे में यह जानना जरूरी है कि भगवान विष्णु ने मोहिनी का अवतार क्यों लिया था. आज का हमारा लेख इसी विषय पर है. आज हम आपको अपने इस लेख के माध्यम से बताएंगे कि भगवान विष्णु का मोहिनी अवतार लेने के पीछे क्या कहानी है.
मोहिनी एकादशी का शुभ मुहूर्त
मोहिनी एकादशी तिथि की शुरुआत – 11 मई 2022 को शाम 7:31 से
मोहिनी एकादशी तिथि का समापन: 12 मई 2022 को शाम 6:51बजे
मोहिनी एकादशी व्रत पारण समय: 13 मई 2022 को प्रातः 7:59 तक
मोहिनी एकादशी व्रत कथा
पुराणिक मान्यताओं के अनुसार, समुद्र मंथन के समय देवता और दानव दोनों में घमासान युद्ध चल रहा था. इस बीच विवाद की स्थिति पैदा होने लगी. तब भगवान विष्णु ने एक सुंदर स्त्री का रूप बनाया. उस सुंदर स्त्री के रूप पर सभी असुर मोहित हो गए. इसी बीच सुंदर स्त्री ने अमृत का कलश लेकर सभी देवताओं को पिला दिया, जिसके परिणाम स्वरूप सभी देवता अमर हो गए. सुंदर स्त्री का नाम मोहिनी था. कहते हैं कि जिस दिन भगवान विष्णु ने यह रूप धारण किया था उस दिन वैशाख मास की शुक्ल पक्ष की एकादशी थी. यही कारण है कि इसको मोहिनी एकादशी के नाम से जाना जाता है. वहीं इस दिन भगवान विष्णु के मोहिनी रूप की आराधना की जाती है