जानिए कब है महाशिवरात्रि का शुभ मुहूर्त

Update: 2023-02-09 10:24 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। Mahashivratri 2023: महाशिवरात्रि शिवजी के सबसे प्रिय त्योहारों में से एक है. इस दिन भक्त सुबह से लेकर शाम तक भगवान शिव की पूजा पूरे विधि-विधान के साथ करते हैं. वैसे हर माह शिवरात्रि आती है, जिसे मासिक शिवरात्रि कहा जाता है. लेकिन फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को पड़ने वाला महाशिवरात्रि बेहद खास होता है. इस दिन भगवान शिव की पूजा पूरे विधि-विधान के साथ की जाती है, जिससे भगवान शिव प्रसन्न होते हैं और आपकी सभी मनोकामनाएं पूरी कर देते हैं. अब ऐसे में अगर आप महाशिवरात्रि के दिन भगवान भोलेनाथ की पूजा कर रहे हैं, तो शिव स्तोत्र का पाठ जरूर करें, इसके बिना पूजा अधूरी मानी जाती है. तो आइए आज हम आपको अपने इस लेख में महाशिवरात्रि की शुभ मुहूर्त कब है, शिव स्तोत्र पाठ क्या है,साथ ही शिव स्तोत्र का पाठ करने से क्या लाभ होता है, इसके बारे में भी विस्तार से बताएंगे.

 जानिए कब है महाशिवरात्रि का शुभ मुहूर्त

फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि दिनांक 18 फरवरी 2023 को रात 08 बजकर 12 मिनट से लेकर अगले दिन दिनांक 19 फरवरी 2023 को शाम 04 बजकर 18 मिनट तक रहेगा.

पूजा करने के बाद इस स्तोत्र का पाठ जरूर करें

त्र्यक्षं पञ्चास्यादिदेवं पुराणं, वन्दे सान्द्रानन्दसन्दोहदक्षम् ॥ १ ॥

योगाधीशं कामनाशं करालं, गङ्गासङ्गक्लिन्नमूर्धानमीशम् ।

जटाजूटाटोपरि क्षिप्तभावं, महाकालं चन्द्रफालं नमामि ॥ २ ॥

यो भूतादिः पञ्चभूतैः सिसृक्षुः, तन्मात्रात्मा कालकर्मस्वभावैः ।

प्रहृत्येदं प्राप्य जीवत्वमीशो, ब्रह्मानन्दे क्रीडते तं नमामि ॥ ३ ॥

स्थितौ विष्णुः सर्वजिष्णुः सुरात्मा, लोकान् साधून् धर्मसेतून् बिभर्ति ।

ब्रह्माद्यंशे योऽभिमानी गुणात्मा, शब्दाद्यङ्गैः तं परेशं नमामि ॥ ४ ॥

यस्याज्ञया वायवो वान्ति लोके, ज्वलत्यग्निः सविता याति तप्यन् ।

शीतांशुः खे तारकासंग्रहश्च, प्रवर्तन्ते तं परेशं प्रपद्ये ॥ ५ ॥

यस्य श्वासात् सर्वधात्री धरित्री, देवो वर्षत्यम्बु कालः प्रमाता ।

मेरुर्मध्ये भुवनानां च भर्ता, तमीशानं विश्वरूपं नमामि ॥ ६ ॥

शिव स्तोत्र का पाठ करने से होता है ये लाभ

शिव स्तोत्र भगवान शिव को समर्पित स्तोत्र है, इस स्तोत्र का पाठ महाशिवरात्रि के साथ-साथ हर सोमवार को करना चाहिए. इससे विशेष लाभ की प्राप्ति होती है और घर की आर्थिक परेशानियों से भी छुटकारा मिलता है. अगर किसी जातक को जल्द क्रोध आता है, तो उसे इस स्तोत्र का पाठ जरूर करना चाहिए. इससे उस व्यक्ति के ऊपर हमेशा भगवान शिव की कृपा बरसती है

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