जय गणेश, जय गणेश.पूरी आरती पढ़ें और इसका महत्त्व जानें

Update: 2023-09-20 04:31 GMT
गणेश चतुर्थी का त्योहार शुरु हो चुका है. इन 10 दिनों के दौरान बप्पा अपने भक्तों के घर आते हैं जो भी सच्चे दिल से उनकी पूर्जा अर्चना करता है. उन्हें दुर्वा घास अर्पित करता है और मोदक का भोग लगाता है उन पर उनकी विशेष कृपा होती है. दिन में और शाम के समय गणेश जी की आरती की जाती है. गणेश आरती के इतिहास की बात करें तो इस बारे में "गणपति अथर्वशीर्ष" जो अथर्ववेद में है, और "गणेश पुराण" में भी इसका वर्णन मिलता है. गणेश जी की पूजा का महत्व हिन्दू धर्म में अत्यधिक माना जाता है. इन्हें आरंभ के देवता के रूप में पूजा जाता है. समस्याओं के निवारण के प्रतीक के रूप में भी इनकी पूजा होती है. किसी भी कार्य की शुरुआत में उनकी पूजा करना शुभ माना जाता है. विघ्नहरण गणेश को ज्ञान और बुद्धा का देवता कहा जाता है. यही वजह है कि बच्चों को भी ये बेहद प्रिय हैं. आइए पढ़ते हैं गणेश जी की आरती...
  गणेश चतुर्थी के महापर्व में हिंदू धर्म (religion) के लगभग सभी लोगों के घर में सुबह और शाम के समय ये आरती गायी जाती है. आप भी अगर गणेश भक्त हैं तो इस बारे में जरुर जानते होंगे. गणेश जी की आरती का इतिहास कई शताब्दियों से है और यह हिन्दू धर्म के महत्वपूर्ण पूजा प्रथाओं में से एक है. गणेश जी की आरती के के बारे में कई वेदों और पुराणों में पढ़ने को मिलता है. गणेश आरती की प्रसिद्ध पंक्तियां "सुखकर्ता दुःखहर्ता" और "जय गणेश, जय गणेश, जय गणेश देवा" हैं, जो गणेश जी की महिमा और महत्व का गुणगान करती हैं.
आरती करने के नियम और महत्त्व
आरती करने के नियम होते हैं. किसी भी पूजा पाठ को अगर नियमानुसार किया जाए तो उसका फल भी आवश्य मिलता है. पूजा के समय आरती करने का मुख्य उद्देश्य ईश्वर की महिमा गुणगान करना, उसकी प्रसन्नता प्राप्त करना और भक्ति और श्रद्धा के साथ उसकी पूजा करना होता है. आरती करते समय आपको इन बातों का ध्यान रखना चाहिए.
1. पवित्रता: आरती करने से पहले हाथ धोना और पवित्र स्थल पर जाना महत्वपूर्ण है.
2. आरती सामग्री: आरती करने के लिए विशेष सामग्री की आवश्यकता होती है, जैसे कि दीपक, फूल, धूप, कर्पूर, गंध, नैवेद्य, आदि.
3. मंत्रों का जाप: आरती के दौरान विशेष मंत्रों का जाप किया जाता है, जो धार्मिक पाठ का हिस्सा होते हैं.
4. आदर्श तरीके से करना: आरती को आदर्श तरीके से करना चाहिए, जिसमें आरती की प्रति चक्षु द्वारा दर्शन किए जाते हैं और सामग्री को दीपक के साथ परिपूर्णता के साथ घूरते हैं.
5. भक्ति और श्रद्धा: आरती को भक्ति और श्रद्धा के साथ किया जाना चाहिए.
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तो आप भी अगर गणेश भक्त हैं और हिंदू धर्म (religion news nin hindi) का सम्मान करते है उस पर विश्वास रखते हैं तो आप भी खास अवसरों पर गणेश जी की पूजा जरुर करते होंगे.
इसी तरह की और जानकारी के लिए आप न्यूज़ नेशन पर हमारे साथ यूं ही जुड़े रहिए.
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