नए साल में ATM से कैश निकासी हुई महंगी, अब 21 रुपये की रेट से चुकानी होगी कीमत

सीमा से अधिक बार एटीएम निकासी करने पर 21 रुपये की रेट से भुगतान करना होगा.

Update: 2021-12-31 17:32 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। नए साल की शुरुआत से तय लिमिट से ज्यादा बार ATM से कैश निकालना मंहगा पड़ने वाला है. अब इसके लिए ग्राहकों की जेब पर ज्यादा बोझ पड़ेगा और अब उन्हें अधिक कीमत चुकानी होगी. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की ओर से जून में जारी निर्देश के मुताबिक बैंकों के ग्राहकों को एक जनवरी 2022 से फ्री सीमा से अधिक बार एटीएम निकासी करने पर 21 रुपये की रेट से भुगतान करना होगा.

हर महीने 5 फ्री ट्रांजैक्शन
अभी बैंकों को निर्धारित सीमा से अधिक बार नकद निकासी पर 20 रुपये का शुल्क लेने की इजाजत है. बैंकिंग ग्राहकों (Banking Customers) के लिए राहत की बात यह है कि एक जनवरी से भले ही शुल्क दर बढ़ जाएगी लेकिन वे पहले की तरह महीने में पांच बार एटीएम से मुफ्त लेनदेन (ATM Free Transactions Limit) कर सकेंगे. इसमें नकद निकासी के अलावा गैर-वित्तीय लेनदेन भी शामिल हैं.
इसके अलावा बैंकिंग ग्राहक अपने बैंक के अलावा दूसरे बैंक के एटीएम से महीने में मेट्रो शहरों में तीन लेनदेन और गैर-मेट्रो शहरो में पांच लेनदेन भी कर पाएंगे. आरबीआई ने पहले बैंकों को वित्तीय लेनदेन (Financial Transactions) के लिए 17 रुपये की दर से 'इंटरचेंज' शुल्क लगाने और गैर-वित्तीय लेनदेन के लिए छह रुपये का शुल्क लगाने की अनुमति दी थी. यह बढ़ी हुई दर एक अगस्त 2021 से लागू होनी थी.
बैंक खर्च कम करने की कोशिश
ट्रांजैक्शन फीस में बढ़ाने का फैसला एटीएम मशीनें लगाने और रखरखाव से जुड़ा बैंकों का खर्च बढ़ने की वजह से लिया गया है. इससे वित्तीय इकाइयों की अपेक्षाओं और ग्राहकों की सुविधा के बीच संतुलन होने की उम्मीद है.
केंद्रीय बैंक ने एटीएम ऑपरेशन की समीक्षा के लिए जून 2019 में भारतीय बैंक संघ के मुख्य कार्यकारी की अगुआई में एक कमेटी बनाई थी. वित्त वर्ष 2020-21 के आखिर में देश भर में 1,15,605 'ऑनसाइट'(बैंक परिसर में) एटीएम और 97,970 'ऑफसाइट' (बैंक परिसर से अलग) एटीएम थे


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