Akhri Sankashti Chaturthiज्योतिष न्यूज़ : सनातन धर्म में कई सारे व्रत त्योहार पड़ते हैं और सभी का अपना महत्व भी होता है लेकिन संकष्टी चतुर्थी को बहुत ही खास माना गया है जो कि हर माह में आता है यह तिथि गणपति की पूजा अर्चना को समर्पित है इस दिन भक्त भगवान को प्रसन्न रखने के लिए पूजा पाठ और व्रत आदि करते हैं।
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संकष्टी चतुर्थी को नई शुरुआत का प्रतीक भी माना जाता है इस दिन लोग नए कार्य की शुरुआत करते हैं। पंचांग के अनुसार अभी पौष माह चल रहा है और इस माह पड़ने वाली संकष्टी चतुर्थी लाभकारी है। इस दिन पूजा पाठ और व्रत करने से भगवान श्री गणेश की असीम कृपा बरसती है साथ ही कष्टों का भी निवारण हो जाता है। इस साल की आखिरी संकष्टी चतुर्थी यानी पौष संकष्टी चतुर्थी आज 18 दिसंबर दिन बुधवार को मनाई जा रही है ऐसे में हम आपको पूजा का श्रेष्ठ मुहूर्त बता रहे हैं तो आइए जानते हैं।
संकष्टी चतुर्थी की तारीख और पूजा मुहूर्त—
हिंदू पंचांग के अनुसार पौष माह की चतुर्थी तिथि का आरंभ 18 दिसंबर दिन बुधवार को सुबह 10 बजकर 6 मिनट से हो रहा है और इस तिथि का समापन अगले दिन यानी की 19 दिसंबर दिन गुरुवार को सुबह 10 बजकर 2 मिनट पर हो जाएगा।
निशा काल में पूजा होने के कारण संकष्टी चतुर्थी का व्रत 18 दिसंबर को ही किया जाएगा। संकष्टी चतुर्थी को अखुरथ संकष्टी चतुर्थी के नाम से भी जाना जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस दिन गणपति साधना जीवन के दुखों का निवारण कर सुख समृद्धि प्रदान करती है।