ज्ञानवापी पर योगी आदित्यनाथ के बयान को गंभीरता से लेना चाहिए, मस्जिद की 'महा जिद' उचित नहीं : विहिप

Update: 2024-09-15 02:52 GMT
नई दिल्ली: ज्ञानवापी विवाद को लेकर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा दिए गए बयान की सराहना करते हुए विश्व हिंदू परिषद ने शनिवार को कहा कि सच सब जानते हैं और ऐसे में वहां पर मस्जिद की "महा जिद" करना उचित नहीं है। विहिप ने योगी आदित्यनाथ के बयान को गंभीरता से भी लेने की सलाह दी है।
विश्व हिंदू परिषद के राष्ट्रीय प्रवक्ता विनोद बंसल ने कहा कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जो बात कही है, उसे गंभीरता से लेना चाहिए और ज्ञानवापी मामले का समाधान जल्द से जल्द होना ही चाहिए।
विहिप प्रवक्ता ने कहा कि काशी सिर्फ धर्म की ही नहीं बल्कि ज्ञान की नगरी भी है। वहां आदि गुरु शंकराचार्य को भी ज्ञान प्राप्त हुआ था। यह भगवान शंकर और विश्वेश्वर भगवान की पुण्य धरा है। यह किससे छिपा है कि भगवान विश्वेश्वर महादेव की इस पुण्य धरा पर कुछ विदेशी आक्रांताओं ने कब्जा जमाने की कोशिश की। जिसको अभी कुछ लोग तथाकथित मस्जिद कहते हैं, वह वास्तव में भगवान शंकर का गर्भगृह है, मूल स्थान है और उसकी मुक्ति बहुत आवश्यक है।
उन्होंने कहा कि क्या यह सच्चाई नहीं है कि जिसे वह मस्जिद बता कर झूठ बोल रहे हैं, उसकी दीवारें व गुंबद का निचला हिस्सा ही उनकी उस झूठ की पोल खोल रहा है। वहां का स्ट्रक्चर, भूगोल, परंपराएं, मान्यताएं , तथ्य और सत्य को देखते हुए किसी को शंका नहीं होनी चाहिए कि वह भगवान विश्वनाथ की ही जगह है। ऐसे में कोई "मस्जिद के लिए महा जिद" करता है तो यह उचित नहीं है।
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