युवक ने फांसी लगाकर की ख़ुदकुशी, परिजनों ने शव लेने से किया इंकार

मामला दर्ज

Update: 2023-08-29 13:18 GMT
दौसा। दौसा उपखण्ड के बसेड़ी गांव को दोपहर एक युवक ने फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली। जिसकी जानकारी मेहंदीपुर बालाजी पुलिस को लगने पर पुलिस शव को पोस्टमार्टम के लिए सिकराय उपजिला अस्पताल ले आई। जहां पर शव का पोस्टमार्टम हो गया, लेकिन परिजनों ने शव को लेने से मना कर दिया। परिजनों का आरोप था कि युवक ने मानसिक रूप से प्रताडित होकर आत्महत्या की है। जब तक उस समस्या का समधान नहीं होगा, तब तक शव को नहीं लिया जाएगा। जिसको लेकर परिजन और ग्रामीण अस्पताल के बाहर धरने पर बैठ गए और 24 घंटे से भी अधिक समय बीत जाने के बाद भी परिजनों ने शव को नहीं लिया। प्रशासन के अधिकारियों ने परिजनों ने समझाने का प्रयास किया, लेकिन वे अपनी मांगों को लेकर अडे़ रहे।
मृतक केशुराम के भाई कमलेश ने बालाजी थाने में दी रिपोर्ट में बताया कि उसी गांव के रामजीवन, लक्ष्मी पत्नी रामजीवन, सुमेर एवं सहयोगी रामकिशन की मदद से उसके भाई केशुराम एवं उसके पिता भजनी को आधार कार्ड में अपडेट करवाने के बहाने से उसके पिता से करीब एक बीघा जमीन की तहसील कार्यालय में ले जाकर 21 तारीख को रजिस्ट्री करवा ली जिसकी जानकारी लगने पर उसके परिवार के लोगों ने 25 तारीख को पंचायत बुलाई। जिसमे रामजीवन एवं उसके सहयोगियों को पंचों के सामने फर्जी तरीके से करवाई गई रजिस्ट्री को वापस उनके नाम करवाने को कहा, लेकिन उनके द्वारा उनकी मांग को नहीं माना गया। बल्कि ज्यादा जोर देने पर जान से मारने की धमकी और पूरी जमीन पर कब्जा करने की बात कही।
रिपोर्ट में बताया कि इसके चलते उसका भाई केशुराम मानसिक दबाव में आ गया और दोपहर दो बजे फंदा लगाकर जीवनलीला समाप्त कर ली। रिपोर्ट में दोषी लोगों के खिलाफ कार्रवाई की मांग गई। मामले की जानकारी मिलने के बाद मौके पर पहुंची मेहन्दीपर बालाजी थाना पुलिस ने शव को उपजिला अस्पताल में पोस्टमार्टम के लिए पहुंचाया। जहां पर शव का पोस्टमार्टम तो ही हो गया, लेकिन परिजनों ने शव को लेने से मना कर दिया और अस्पताल के बाहर ही धरने पर बैठ गए। रविवार को सुबह प्रशासन ने मौके पर पहुंच कर परिजनों को समझाने का प्रयास किया, लेकिन परिजन अस्पताल के बाहर मुख्यमार्ग पर बैठकर रास्ता भी जाम कर दिया। दिनभर एसडीएम राकेश मीना, मानपुर सीओ दीपक मीना, तहसीलदार दिनेश मीना आदि ने परिजनों को समझाने का प्रयास, लेकिन परिजन रजिस्ट्री को निरस्त करने व मुआवजा देने की मांग पर अडे रहे। रविवार देर शाम करीब साढ़े पांच बजे बाद परिजन शव को लेने के लिए राजी हो गए।
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